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कमलनाथ ने बुलाई अहम बैठक, तय करेंगे आगे की रणनीति
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने विधानसभा उपचुनाव में मिली करारी हार के बाद बुधवार को पार्टी के जिलाध्यक्षों व प्रत्याशियों की अहम बैठक बुलाई है। एक बैठक पार्टी के सभी विधायकों की भी बुलाई गई है।
भोपाल: कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने विधानसभा उपचुनाव में मिली करारी हार के बाद बुधवार को पार्टी के जिलाध्यक्षों व प्रत्याशियों की अहम बैठक बुलाई है। एक बैठक पार्टी के सभी विधायकों की भी बुलाई गई है। विधानसभा उपचुनाव नतीजे आने से दो दिन पहले कमलनाथ ने 11 नवंबर की शाम छह बजे पार्टी के सभी विधायकों व निर्दलीय विधायकों की एक बैठक बुला रखी थी लेकिन उपचुनाव नतीजे आशा के अनुकूल नहीं आने के बाद इस बैठक के स्वरूप में परिवर्तन किया गया है।
अब बैठक में पार्टी विधायकों व हारे हुए प्रत्याशियों के साथ ही उपचुनाव से संबंधित जिलों के पार्टी अध्यक्षों को बुलाया गया है। इस बैठक में विधानसभा क्षेत्र प्रभारी भी रहेंगे। समझा जा रहा है कि इस बैठक में हार के कारणों की समीक्षा की जाएगी। प्रदेश कांग्रेस के प्रशासन प्रभारी व महामंत्री राजीव सिंह ने बैठक बुलाए जाने की पुष्टि की है।
उन्होंने बताया कि बुधवार 11 नवंबर को शाम छह बजे प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष, पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के निवास पर कांग्रेस विधायक दल की बैठक आहूत है। बैठक में जिन जिलों में चुनाव हुए उनके जिला कांग्रेस अध्यक्षों एवं 28 विधानसभा क्षेत्र के प्रभारियों ओर कांग्रेस प्रत्याशियों को भी अनिवार्य रूप से उपस्थित होने के लिए कहा गया है।
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हाईकमान को देनी है रिपोर्ट
बताया जा रहा है कि इस बैठक का मकसद पार्टी हाईकमान को विधानसभा उपचुनाव में मिली करारी शिकस्त से संबंधित रिपोर्ट तैयार कर देना है। एक-एक सीट पर विचार-विमर्श कर तय किया जाना है कि आखिर पार्टी प्रत्याशियों के हारने की वजह क्या है। दूसरी ओर कमलनाथ विरोधी गुट यह मान रहा है कि विधानसभा उपचुनाव में करारी शिकस्त के बाद कमलनाथ की नेतृत्व पर सवाल उठने लगे हैं। भारतीय जनता पार्टी ने भी इस चुनाव में कमलनाथ को बाहरी और बंगाली नेता बताया था।
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ऐसे में पार्टी के अंदर से विरोध के स्वर न उठें और सभी लोग उनके साथ एकजुट रहें। इसलिए कमलनाथ ने यह बैठक बुलाई है। बहरहाल करारी हार ने मध्यप्रदेश की कुर्सी पर कमलनाथ की वापसी के रासते िफलहाल पूरी तरह बंद कर दिए हैं। इससे दिग्विजय सिंह और कमलनाथ दोनों की मुश्किलें आने वाले दिनों में बढने की आशंका है। पार्टी हाईकमान का आने वाले दिनों में क्या रुख रहेगा। कांग्रेस में सत्ता परिवर्तन की भी चर्चा हो रही है।
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रिपोर्ट: अखिलेश तिवारी
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