TRENDING TAGS :
बैडमिंटन : रूस ओपन खिताब जीतने वाले पहले भारतीय खिलाड़ी सौरभ
नई दिल्ली : भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ी सौरभ वर्मा ने अपने अच्छे प्रदर्शन के दम पर रविवार को रूस ओपन का खिताब अपने नाम किया। इसके साथ ही सौरभ इस खिताबी को जीतने वाले पहले भारतीय पुरुष खिलाड़ी बन गए हैं। महिला वर्ग में गद्दे रुत्विका शिवानी ने 2016 में खिताबी जीत हासिल की थी।
इसके अलावा, भारतीय मिश्रित युगल जोड़ी रोहन कपूर और कुहू गर्ग को रजत पदक हासिल हुआ। भारतीय बैडमिंटन संघ (बीएआई) ने इस मौके पर तीनों खिलाड़ियों को बधाई दी है।
वर्ल्ड नम्बर-65 सौरभ ने पुरुष एकल वर्ग के खिताबी मुकाबले में जापान के कोकी वतानाबे को मात दी और इस साल का अपना पहला खिताब जीता।
ये भी देखें : उत्तराखंड की बेटी ने रोशन किया देश का नाम, रशियन ओपन टूर्नामेंट में बनाई जगह
सौरभ ने एक घंटे तक चले इस मुकाबले में वतानाबे को 18-21, 21-12, 21-17 से मात देकर खिताब अपने नाम किया। पहले गेम में सौरभ जापानी खिलाड़ी से पीछे चल रहे थे। उन्होंने किसी तरह 18-18 से बराबरी कर ली थी, लेकिन वतानाबे ने दो अंक लेकर पहला गेम 18-21 से अपने नाम कर लिया।
सौरभ ने दूसरे गेम में अच्छी वापसी की और वतानाबे को पछाड़ते हुए 21-12 से जीत हासिल की। तीसरे और निर्णायक गेम में भारतीय खिलाड़ी ने अपनी लय को बनाए रखने की कोशिश की। वह 3-9 से पीछे चल रहे थे लेकिन यहां उन्होंने अच्छी वापसी करते हुए अंक बटोरने शुरू किए और अंत में तीसरे गेम में 21-17 से अपने नाम करने के साथ ही खिताब भी जीत लिया।
भारतीय खिलाड़ी का सामना पहली बार जापानी खिलाड़ी वतानाबे से हो रहा था। ऐसे में सौरभ ने बिना किसी दबाव के जीत हासिल की।
ये भी देखें : VIDEO: इन 7 क्रिकेटर्स की अंपायरों से हो चुकी है भयंकर लड़ाई, लिस्ट में धोनी भी शामिल
अपनी जीत के बाद, सौरभ ने कहा, "खिताब जीतने की खुशी अलग होती है और मैं यहां अपने प्रदर्शन से संतुष्ट हूं। मैंने अपना प्राकृतिक खेल खेला और इसके परिणामों से खुश हूं। इस जीत के कारण एशियाई खेलों में मेरा आत्मविश्वास मजबूत बना रहेगा।"
जहां एक ओर इस टूर्नामेंट में सौरभ को जीत हासिल हुई, वहीं फाइनल तक का सफर तय करने वाली रोहन और कुहू की जोड़ी को हार का सामना करना पड़ा।
कुहू और रोहन की जोड़ी को मिश्रित युगल वर्ग के फाइनल में दक्षिण कोरिया की मिन क्युंग किम और रूस के व्लादिमीर इवानोव की जोड़ी ने सीधे गेमों में 21-19, 21-17 से हराकर खिताब से महरूम कर दिया।
बीएआई के महासचिव अजय के. सिंघानिया ने कहा, "हमारा मुख्य लक्ष्य अधिक युवाओं का प्रचार करना और उन्हें अनुभव हासिल करने के मौके देना है। हाल ही में युवा खिलाड़ियों को मिली सफलताएं बता रही हैं कि हम सही दिशा में हैं। यह प्रशंसनीय है। विश्व चैम्पियनशिप में हम 25 खिलाड़ियों को प्रतिस्पर्धा करते देखेंगे, जो भारतीय बैडमिंटन के लिए एक अच्छी बात है।"
AI Assistant
Online👋 Welcome!
I'm your AI assistant. Feel free to ask me anything!