Jal Gyan Yatra: स्कूली छात्र-छात्राओं ने देखी हर घर जल योजना से बदलते गांव की तस्वीर, बच्चों ने देखी जल आपूर्ति की प्रक्रिया

Jal Gyan Yatra: बच्चों को सप्लाई किए जाने से पहले पानी को कैसे शुद्ध किया जाता है ये भी दिखाया गया। ओवरहैंड टैंक देखने के बाद छात्रों ने गोदौली गांव का भी भ्रमण किया। एफटीके महिलाओं ने किट के जरिए छात्रों को जल गुणवत्‍ता की जांच भी करके दिखाई।

Newstrack          -         Network
Published on: 7 Nov 2023 10:55 PM IST (Updated on: 8 Nov 2023 3:45 PM IST)
Jal Gyan Yatra
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Jal Gyan Yatra (Pic:Newstrack)

Jal Jeevan Mission: जल जीवन मिशन की हर घर जल योजना से यूपी के गांव-गांव में आ रहे बदलाव को राजधानी लखनऊ के सरोजनीनगर स्थित गांवों में स्कूली बच्चों ने मंगलवार को करीब से देखा और परखा भी। हर घर तक पहुंच रहे नल कनेक्शन और स्वच्छ पीने का पानी मिलने से ग्रामीणों को होने वाले फायदे भी जाने। वो पाइप पेयजल परियोजना पर भी गए और यहां ग्रामीणों तक पहुंचाई जा रही सप्लाई की प्रक्रिया को देखा। नुक्कड़ नाटक के माध्यम से स्कूली बच्चों को बूंद-बूंद जल बचाने के लिए प्रेरित भी किया गया। मौका था जल जीवन मिशन की ओर से आयोजित जल ज्ञान यात्रा का। इसमें नवोदय विद्यालय पिपरसंड व पीएम श्री केन्‍द्रीय विद्यालय सीआरपीएफ बिजनौर के 100 से अधिक छात्र शामिल हुए।

बच्चों ने जाना पंप हाउस की कार्यप्रणाली

भावी पीढ़ी को जल जीवन मिशन की परियोजनाओं का सहभागी बनाने के लिए लखनऊ के सरोजनीनगर में आयोजित जल ज्ञान यात्रा का आयोजन किया गया। इसमें शामिल छात्र-छात्राओं को पीएम श्री केन्‍द्रीय विद्धालय सीआरपीएफ के प्रधानाचार्य आरके सिंह, नवोदय विद्धालय की प्रधानाचार्य साधना शुक्‍ला व योजना के जिला समन्वयक डॉ. हरपाल सिंह ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। सबसे पहले छात्र-छात्राओं को सरोजनीनगर स्थित गोंदौली पेयजल परियोजना ले जाया गया। यहां उनको ओवरहैड टैंक और पंप हाउस की कार्यप्रणाली समझाई गई। उनको क्‍लोरीनेशन रूम दिखाया गया।


बच्चों को सप्लाई किए जाने से पहले पानी को कैसे शुद्ध किया जाता है ये भी दिखाया गया। ओवरहैंड टैंक देखने के बाद छात्रों ने गोदौली गांव का भी भ्रमण किया। एफटीके महिलाओं ने किट के जरिए छात्रों को जल गुणवत्‍ता की जांच भी करके दिखाई।


छात्र-छात्राओं ने ग्रामीणों से बात की और पूछा कि जल जीवन मिशन की हर घर जल योजना से मिल रहे शुद्ध पेयजल ने उनके जीवन पर क्‍या प्रभाव डाला है। गांव की पुष्‍पलता ने बताया कि जब से नल से शुद्ध जल आना शुरू हुआ है, तब से गांव का रहन सहन बदल गया है। यहां पर बच्‍चे और बुजुर्ग कम बीमार पड़ते हैं। इसके अलावा गांव के बच्‍चे समय से स्‍कूल भी पहुंच जाते हैं।


स्कूली बच्चों ने पूरे उत्साह से लिया जल ज्ञान यात्रा में भाग

कक्षा 11 के छात्र आदित्‍य सिंह जल जीवन मिशन की सरोजनीनगर स्थित गोंदौली पेयजल परियोजना देखकर हैरान थे। वह अपने सहपाठी अविरल से कह रहे थे कि क्‍या तुम्‍हें लगता है कि सौर उर्जा से संचालित इस ओवर हैड टैंक से 4.5 किलोमीटर के दायरे में फैले गांव के 392 ग्रामीण परिवारों को नल से शुद्ध पेयजल की सप्‍लाई की जा रही है। उनकी जिज्ञासा को शांत करते हुए वहां मौजूद जल निगम अधिकारी ने बताया कि सिर्फ 100 केएल का ओएचटी नहीं पंप हाउस, क्‍लोरीनेशन रूम में लगे पैनल व मशीनें भी सोलर से संचालित होती हैं। यह सुनकर छात्र बोल पड़े ये सच में सुखद है।


क्‍लोरीनयुक्‍त जल के फायदे जाने

जल ज्ञान यात्रा में छात्रों को क्‍लोरीनयुक्‍त जल के फायदे भी बताए गये। उन्‍हें बताया गया कि 100 केएल के ओवरहैड टैंक में 30 लीटर क्‍लोरीन मिलाई जाती है। जो पानी में मौजूद बैक्‍टीरिया व दूसरे हानिकारक तत्‍वों को खत्‍म करके ग्रामीण परिवारों को शुद्ध पेयजल की आपूर्ति करती है। गांव में दो टाइम पानी दिया जाता है। पंप हाउस में लगे इ‍लेक्ट्रिानिक पैनल से पानी की गुणवत्‍ता व सप्‍लाई पर नजर रखी जाती है। यह पूरी प्रक्रिया आटोमेटिक है। खास बात यह है कि यह पूरी प्रकिया सौर उर्जा से संचालित की जाती है।


स्कूली बच्चों ने जल संरक्षण की शपथ ली

स्‍वजन फाउंडेशन की ओर से बच्‍चों को नुक्‍कड़ नाटक व लोकगीत के जरिए जल संचयन की अहमियत बताई गई। छात्रों ने जल संरक्षण की शपथ भी ली।

Durgesh Sharma

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