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Muzaffarnagar News: रालोद विधायक मिथिलेश पाल पर दंगे और बंधक बनाने के आरोप तय, अब जनवरी में होगी सुनवाई
Muzaffarnagar News: नवनिर्वाचित आरएलडी विधायक मिथिलेश पाल और 14 अन्य 6 दिसंबर को मुजफ्फरनगर में एक विशेष एमपी/एमएलए अदालत में पेश हुए, जहां यातायात में व्यवधान से जुड़े एक मामले में उनके खिलाफ आरोप तय किए गए।
Muzaffarnagar News: राष्ट्रीय लोक दल (रालोद) की मीरापुर से नवनिर्वाचित विधायक मिथिलेश पाल और 14 अन्य के खिलाफ 2019 का एक मामला मुसीबत का सबब बन गया है। ये मामला यातायात बाधित करने से जुड़ा है। मामले में शुक्रवार को ये लोग विशेष सांसद-विधायक अदालत में पेश हुए। इसके बाद अदालत ने उनके खिलाफ आरोप तय कर दिये।
जानकारी के मुताबिक विशेष न्यायाधीश देवेंद्र सिंह फौजदार ने आरोपियों के खिलाफ भारतीय दंड सहिंता (आईपीसी) की धारा 147 (दंगा), 148 (घातक हथियारों के साथ दंगा करना) और 342 (बंधक बनाना) के तहत आरोप तय किए हैं। अदालत ने इस मामले की सुनवाई की अगली तिथि तीन जनवरी, 2025 तय की है।
अगली सुनवाई 3 जनवरी की तय
आपको बता दें कि नवनिर्वाचित आरएलडी विधायक मिथिलेश पाल और 14 अन्य 6 दिसंबर को मुजफ्फरनगर में एक विशेष एमपी/एमएलए अदालत में पेश हुए, जहां यातायात में व्यवधान से जुड़े एक मामले में उनके खिलाफ आरोप तय किए गए। आरोप हैं कि आरोपियों ने कथित तौर पर विरोध प्रदर्शन करने के लिए एक सड़क को अवरुद्ध कर दिया था। इसी मामले में सुनवाई के बाद विशेष न्यायाधीश देवेन्द्र सिंह फौजदार ने सुश्री पाल और 14 अन्य के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 147 (दंगा), 148 (घातक हथियार के साथ दंगा) और 342 (गलत तरीके से कारावास) के तहत आरोप तय किए हैं। अदालत ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 3 जनवरी, 2025 की तारीख तय की है।
सुश्री पाल के वकील किरणपाल ने इसकी पुष्टि करते हुए मीडिया से कहा है कि 25 फरवरी, 2019 को सिविल लाइन्स पुलिस स्टेशन में पुलिस द्वारा विधायक सहित 15 व्यक्तियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था। अभियोजन पक्ष के अनुसार, सुश्री पाल और अन्य ने धनगर जाति को अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति की सूची में शामिल करने की अपनी मांग पर जोर देने के लिए महावीर चौक के पास धरना दिया और सड़क अवरुद्ध कर दी थी। सुश्री पाल हाल ही में उपचुनाव में मीरापुर विधानसभा से रालोद विधायक चुनी गईं, जिसका परिणाम 23 नवंबर को घोषित किया गया।