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पांच साल के लिए फार्मेसी संस्थान खोलने पर रोक, ये है वजह
फार्मेसी संस्थानों की बढ़ती संख्या को देखते हुए शैक्षणिक गुणवत्ता को बनाये रखने तथा रोजगार की संभावनाओं को बरकरार रखने के लिए फार्मेसी कौंसिल ऑफ इंडिया (पीसीआई) ने अगले शैक्षणिक सत्र 2020-21 से 5 वर्ष तक नए फार्मेसी संस्थान खोलने पर रोक लगा दी है।
लखनऊ: फार्मेसी संस्थानों की बढ़ती संख्या को देखते हुए शैक्षणिक गुणवत्ता को बनाये रखने तथा रोजगार की संभावनाओं को बरकरार रखने के लिए फार्मेसी कौंसिल ऑफ इंडिया (पी सी आई) ने अगले शैक्षणिक सत्र 2020-21 से 5 वर्ष तक नए फार्मेसी संस्थान खोलने पर रोक लगा दी है।
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स्टेट फार्मेसी कौंसिल उत्तर प्रदेश के पूर्व चेयरमैन सुनील यादव ने जानकारी देते हुए बताया कि 6 और 7 अप्रैल को पीसीआई के 106वीं सेंट्रल काउन्सिल बैठक में यह प्रस्ताव सर्वसम्मति से पारित हुआ था।
जिसे कल 17 जुलाई को सभी राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों के मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव स्वास्थ्य, प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा एवं प्रमुख सचिव तकनीकी शिक्षा को भेज दिया गया है तथा कौंसिल की वेबसाइट पर अपलोड भी कर दिया गया है।
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इस समय देश मे कुल 1,985 डिप्लोमा फार्मेसी संस्थान तथा 1,439 बैचलर फार्मेसी संस्थान संचालित हो रहे हैं जिनसे प्रति बैच 2,19,279 फार्मेसिस्ट छात्र शिक्षा ग्रहण कर पंजीकृत हो रहे हैं।
कौंसिल के अनुसार जनसंख्या के अनुपात में फार्मेसिस्टों की संख्या मानक के अनुसार पूर्ण है। लगातार नए कॉलेजों के खुलने से प्रोफेसर की उपलब्धता कम हो रही है, जिससे शिक्षा की गुणवत्ता प्रभावित हो सकती है।
वहीं भारी संख्या में पंजीकृत फार्मेसिस्टों को सरकारी व निजी क्षेत्रों में उचित रोजगार मिलना भी कठिन हो रहा है। इसलिए कॉन्सिल ने निर्णय लिया है कि अगले 5 वर्ष तक नए फार्मेसी कॉलेज खोलने की अनुमति नहीं दी जाएगी।
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