राष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन, देशभर से शामिल हुए एक्सपर्ट, हुई इस मुद्दे पर चर्चा

दयानंद एंग्लो वैदिक पोस्ट ग्रैजुएट कॉलेज लखनऊ एवं लखनऊ विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित राष्ट्रीय वेबीनार में वक्ता के रूप में भारत के अनेक विद्वानों ने प्रतिभाग किया

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Published on: 20 Sept 2020 10:07 PM IST
राष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन, देशभर से शामिल हुए एक्सपर्ट, हुई इस मुद्दे पर चर्चा
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जौनपुर: दयानंद एंग्लो वैदिक पोस्ट ग्रैजुएट कॉलेज लखनऊ एवं लखनऊ विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित राष्ट्रीय वेबीनार में वक्ता के रूप में भारत के अनेक विद्वानों ने प्रतिभाग किया जिसमें शिक्षा रत्न से सम्मानित आचार्य सहित टीवी कलाकार एवं समाचार पत्रों के संपादक भी वक्ता के रूप में रहे जनपद जौनपुर के तिलकधारी स्नातकोत्तर महाविद्यालय जौनपुर के समाजशास्त्र विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डॉ हरिओम त्रिपाठी ने भी प्रतिभाग किया।

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"परहित सरिस धर्म नहिं भाई ,पर पीड़ा नहि सम अधमाई" शीर्षक

संगोष्ठी का शीर्षक मानस की चौपाई "परहित सरिस धर्म नहिं भाई ,पर पीड़ा नहि सम अधमाई" शीर्षक पर था। जिसमे वक्ता के रूप में प्रतिभाग करते हुए डॉ. हरिओम त्रिपाठी ने कहा कि राम चरित मानस की यह चौपाई वर्तमान समय के वैश्विक महामारी कोविड-19 के समय अति प्रासंगिक साबित हुई है। आज भारत एक विकासशील देश की श्रेणी में है लेकिन इस वैश्विक महामारी में विकसित और विकास शील देशों के बीच समन्वय स्थापित किया।

प्रधानमंत्री के नेतृत्व में भरपूर सहयोग

दूसरे राष्ट्रों की पीड़ा को समझते हुए भारत के ऋषियों मनीषियों ने प्रधानमंत्री के नेतृत्व में भरपूर सहयोग किया है। भारत साहित्य सेवियों का देश रहा है यहां की सनातन संस्कृति दान और तपस्या पर विश्वास करती है। भारत में अद्भुत गुणों के मनीषी हुए हैं, जो पूरे विश्व के प्रेरणा स्रोत रहे जिसमें स्वामी विवेकानंद, रामकृष्ण परमहंस ,पंडित मदन मोहन मालवीय , पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य आदि का नाम है । डॉ. त्रिपाठी ने कहा कि निज हित से पशुता की संस्कृति का विकास होता है परहित से मानवता की संस्कृत का विकास होता है, मैथिलीशरण जी की एक पंक्ति है-वही पशु प्रवृत्ति है, कि जो आप आप ही चरे, वही मनुष्य है जो मनुष्य के लिए मरे। आज मानवता में ममता के जागने का समय आ गया है,तभी हम अपने ऋषियों एवं मनीषियों के कर्तव्यों को आत्मसात कर पाएंगे।

कार्यक्रम के मुख्य संयोजक एवं आयोजक दयानंद एंगलो वेदिक कॉलेज लखनऊ के समाजशास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ संजय तिवारी जी रहे ,तिलकधारी महाविद्यालय जौनपुर से आन लाइन प्रतिभाग करने वालों में डॉ. विजय कुमार सिंह अध्यक्ष शिक्षक संघ वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर, डॉ सुरेंद्र नारायण उपाध्याय, डॉ महेंद्र कुमार त्रिपाठी, डॉक्टर सिद्धार्थ सिंह, डॉक्टर शैलेंद्र सिंह वत्स ,डॉक्टर जितेश सिंह, शोध छात्र उमा निवास मिश्र, प्रियंका तिवारी, डीबीएस इंटर कॉलेज के प्रधानाचार्य सुनील विश्वकर्मा आदि रहे।

रिपोर्ट: कपिल देव मौर्य, जौनपुर

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