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योगी ने ई-पुस्तक का किया विमोचन, कोरोना के प्रति जागरूकता में मिलेगी मदद
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज लोक भवन में कोविड-19 पर केन्द्रित ई-पुस्तक का वर्चुअल माध्यम से विमोचन किया।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की फाइल तस्वीर (फोटो साभार–सोशल मीडिया)
लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने आज यहां लोक भवन में उप्र राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की कोविड-19 पर केन्द्रित ई-पुस्तक (E-Book) का वर्चुअल माध्यम से विमोचन किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उ.प्र. राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यपालक अध्यक्ष तथा उच्च न्यायालय इलाहाबाद के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय यादव एवं प्राधिकरण के सदस्य सचिव अशोक कुमार का इस सदी की सबसे बड़ी महामारी के बारे में ई-पुस्तक के माध्यम से जागरूकता पैदा करने के लिए आभार व्यक्त किया।उन्होंने कहा कि कोविड से लड़ने में यह ई-पुस्तक लोगों के लिए अत्यन्त उपयोगी साबित होगी। इस ई-पुस्तक के माध्यम से एक बड़े तबके को जागरूक करने में मदद मिलेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ई-पुस्तक तथ्यात्मक व वैज्ञानिक जानकारी पर आधारित होने के कारण कोरोना के प्रति भ्रान्तियों को दूर करने में महत्वपूर्ण योगदान देगी। यह ई-पुस्तक आज के समय के अनुरूप सभी तथ्यों को ध्यान में रखकर तैयार की गयी है। उन्होंने कहा कि इस ई-पुस्तक को पब्लिक पोर्टल पर उपलब्ध कराया जाए, जिससे माध्यमिक, उच्च व प्राविधिक शिक्षण संस्थान ऑनलाइन क्लासेज के माध्यम से बच्चों को यह ई-पुस्तक पढ़ने के लिए जरूर कहें। कोविड की दूसरी लहर को नियंत्रित करने में हमें सफलता मिली है।
कोरोना की तीसरी लहर की तैयारी
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना की तीसरी लहर की सम्भावना के मद्देनजर अभी से व्यापक तैयारी की जा रही है। इसके अन्तर्गत व्यापक स्तर पर स्वच्छता व सैनिटाइजेशन का काम किया जा रहा है। सभी जनपदों में पीकू व नीकू वॉर्ड बनाये जा रहे हैं। 12 वर्ष से कम आयु के अभिभावकों को वैक्सीनेट करने का विशेष अभियान चलाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में देश व प्रदेश में कोरोना के खिलाफ एक रणनीतिक लड़ाई लड़ी जा रही है। जब प्रदेश में पहला कोविड मरीज मिला था, तब प्रदेश की टेस्ट क्षमता शून्य थी, वहीं आज यह क्षमता 3.5 लाख से 04 लाख कोरोना टेस्ट प्रतिदिन की है। भारत की तुलना में अमेरिका, यू.के., जर्मनी तथा फ्रांस जैसे विकसित देशों में हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर काफी मजबूत है, इसके बावजूद वहां कोविड से मृत्यु दर काफी अधिक रही है।
योगी आदित्यनाथ (फाइल फोटो- सोशल मीडिया)
कोविड केयर फंड
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने कोविड केयर फंड बनाया, जिसमें सरकार के मंत्रियों, विधायकों, सांसदों व समाज के विभिन्न लोगों ने सहयोग किया। इससे लगभग 400 करोड़ रुपये मिले। इसका सदुपयोग नई टेस्टिंग लैब स्थापित करने में किया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार के बेहतर कोविड प्रबन्धन से महामारी पर प्रभावी अंकुश लगा है। दूसरी लहर के दौरान पोस्ट कोविड मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा था। इसके दृष्टिगत प्रदेश सरकार ने 14 विशेषज्ञों का एक एडवाइजरी ग्रुप बनाया, जो राज्य सरकार को सुझाव देता है।
'दुःख है तो उसका कारण भी है और निवारण भी'
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उन्होंने पिछले 25 दिनों में अनेक जनपदों का दौरा किया है और वहां के लोगों से बातचीत की। कोरोना के खिलाफ देश की लड़ाई मानवता को बचाने की लड़ाई है। इसमें सभी संगठनों, धर्म, समुदायों के लोगों का सहयोग प्राप्त हो रहा है। उन्होंने कहा कि उन्होंने धर्म गुरुओं, निगरानी समितियों आदि से संवाद किया।मुख्यमंत्री ने कहा कि भगवान बुद्ध का कथन है कि दुःख है तो उसका कारण भी है और निवारण भी। कोविड-19 महामारी है सामान्य फ्लू नहीं। महामारी की गम्भीरता को जनसामान्य समझने लगेगा अथवा हम उसे समझाने का प्रयास करेंगे तो हम यह भी बताने में सफल होंगे कि इस महामारी में उपचार से महत्वपूर्ण बचाव है। हम जितना अधिक बचाव कर पाएंगे वह सर्वाेत्तम उपाय है। फिर भी यदि कोई बीमार होता है तो उसे राज्य सरकार स्तरीय चिकित्सीय सुविधाएं उपलब्ध कराने का कार्य कर रही है।
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