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दहशत हनीमून की! राजा और सोनम की रहस्यमयी कहानी और गंभीर आरोप

Meghalaya Honeymoon Horror Story: राजा और सोनम 20 मई को मेघालय पहुंचे और पूर्वी खासी हिल्स में स्थित प्रसिद्ध “लिविंग रूट ब्रिज” और झरनों को देखने की योजना बनाई...

Newstrack          -         Network
Published on: 6 Jun 2025 2:32 PM IST
Meghalaya Honeymoon Horror Story Raja and Sonam
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Meghalaya Honeymoon Horror Story Raja and Sonam 

Meghalaya Honeymoon Horror Story: शिलॉन्ग। 11 मई 2025 को, 30 वर्षीय राजा रघुवंशी और 27 वर्षीय सोनम रघुवंशी ने मध्य प्रदेश के इंदौर में विवाह किया। उनका दिल प्रेम और अपने नए जीवन की आशाओं से भरा हुआ था। शादी के नौ दिन बाद, वे मेघालय की धुंध भरी पहाड़ियों में हनीमून पर निकले—एक ऐसा प्रदेश जो अपनी अद्भुत प्राकृतिक सुंदरता और शांत वातावरण के लिए जाना जाता है। लेकिन जो यात्रा प्रेम और उत्साह से शुरू हुई थी, वह जल्द ही एक सिहरन भरी रहस्यमयी त्रासदी में बदल गई जिसने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। राजा की लाश एक दुर्गम खाई में क्षत-विक्षत अवस्था में मिली, जबकि सोनम अब भी लापता हैं। अब परिवार, प्रशासन और जनता सब जवाबों के लिए भटक रहे हैं। हत्या, स्थानीय मिलीभगत और लापरवाही की आशंकाओं के बीच यह मामला अब एक भयावह पहेली बन गया है, जिसका कोई स्पष्ट समाधान नहीं दिख रहा।

त्रासदी की समयरेखा:

राजा और सोनम 20 मई को मेघालय पहुंचे और पूर्वी खासी हिल्स में स्थित प्रसिद्ध “लिविंग रूट ब्रिज” और झरनों को देखने की योजना बनाई। 22 मई को, उन्होंने शिलॉन्ग में एक स्कूटर किराए पर लिया और मावलाखियात गाँव पहुँचे, जहाँ से वे 3,000 सीढ़ियाँ उतरकर नोंग्रियात गाँव गए और डबल डेकर लिविंग रूट ब्रिज देखा। उन्होंने “शिपारा होमस्टे” में रात बिताई और 23 मई की सुबह चेकआउट किया। उसी दिन सोनम ने अपनी सास को फोन किया, जिसमें वह थकी हुई और हांफती हुई लग रही थी। उसने बताया कि वे घने जंगल में झरना देखने जा रहे हैं, और वह धार्मिक व्रत तोड़ने से इनकार कर रही है। उसने कहा, “घूमने के चक्कर में व्रत थोड़ी तोड़ दूंगी।” यह उनके परिवार से आखिरी संपर्क था।

24 मई को उनका स्कूटर सोहरारीम के एक कैफे में लावारिस मिला, जिसमें चाबी अभी भी लगी थी। उसी रात से उनके मोबाइल स्विच ऑफ हो गए और दोनों लापता हो गए। आठ दिनों तक बारिश और दुर्गम इलाका खोज में बाधा बनता रहा। पुलिस, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय स्वयंसेवकों ने 150 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में तलाशी अभियान चलाया। 2 जून को पुलिस के ड्रोन ने वेसॉडोंग फॉल्स के पास एक गहरी खाई में राजा का शव देखा। शव की पहचान उनके दाहिने हाथ पर बने “राजा” नामक टैटू से हुई। घटनास्थल पर जो वस्तुएं मिलीं, वे इस अपराध की भयावहता को दर्शाती हैं—एक धारदार मछेती (स्थानीय ‘दाओ’), टूटा हुआ मोबाइल फोन, महिला की सफेद कमीज़, पेंट्रा 40 टैबलेट की स्ट्रिप, और राजा की कलाई पर बंधी स्मार्टवॉच। उनका बटुआ, सोने की चेन और अंगूठियाँ गायब थीं, जिससे लूट की आशंका गहरी हुई। बाद में मावक्मा गाँव में काले-गुलाबी रंग की एक रेनकोट (संभावित रूप से सोनम की) मिली, जिस पर कुछ संदिग्ध धब्बे थे।

हत्या की पुष्टि, पत्नी लापता:

3 जून को ईस्ट खासी हिल्स के पुलिस अधीक्षक विवेक सिएम ने पुष्टि की कि यह एक हत्या है। उन्होंने कहा, “यह हत्या है, इसमें कोई संदेह नहीं है। हमने ‘दाओ’ बरामद किया है जो इसी के लिए इस्तेमाल हुआ।” इसके बाद एक विशेष जांच दल (SIT) का गठन किया गया, जिसकी कमान एसपी (सिटी) हर्बर्ट खारकोंगोर के हाथ में है। हत्या और साक्ष्य नष्ट करने की धाराओं में मामला दर्ज किया गया। मछेती और टूटा मोबाइल फोरेंसिक जांच के लिए भेजे गए हैं। पोस्टमॉर्टम की रिपोर्ट में तेजधार हथियार से हुए घाव की पुष्टि हुई, जिससे स्पष्ट होता है कि राजा की हत्या किसी वृक्ष काटने वाले औजार से की गई और फिर शव को खाई में फेंका गया।

6 जून 2025 तक सोनम का कोई सुराग नहीं मिला है। ड्रोन, डॉग स्क्वॉड और कई एजेंसियों के प्रयासों के बावजूद वह लापता हैं। सिएम ने कहा, “यह बेहद असामान्य है… ऐसा लगता है जैसे वह गायब हो गई हों।” बरामद वस्तुएं भी कोई ठोस सुराग नहीं दे पाई हैं, और दुर्गम भू-भाग व बारिश से राहत कार्य में लगातार बाधा आ रही है।

षड्यंत्र और लापरवाही के आरोप:

राजा और सोनम के परिवार शोक और गुस्से से भरे हैं। वे जांच में लापरवाही और स्थानीय साजिश का आरोप लगा रहे हैं। राजा के भाई विपिन रघुवंशी, जो खोज में शामिल हुए, ने कहा कि पुलिस ने शुरुआती सुरागों को नजरअंदाज किया। “वे लगातार हमें झूठ बोलते रहे, कहते रहे कि उस इलाके में तलाशी हो चुकी है जहाँ बाद में राजा का शव मिला।” विपिन को शक है कि स्कूटर किराए पर देने वाला व्यक्ति और एक स्थानीय गैंग इस अपराध में शामिल हैं। उन्होंने दावा किया, “वहां लड़कियों की तस्करी होती है। स्थानीय लोग पुलिस से भी ज्यादा ताकतवर हैं।” उन्होंने डर जताया कि सोनम का अपहरण कर लिया गया है।

सोनम के भाई गोविंद ने भी अपहरण की आशंका जताई और कहा कि “ऐसी घटनाएं पहले भी हुई हैं, लेकिन स्थानीय लोग उन्हें दबा देते हैं।” उन्होंने बताया कि डबल डेकर ब्रिज के पास एक स्थानीय व्यक्ति ने उन्हें चेतावनी दी थी कि “मेघालय की बदनामी मत करो।”

परिवार ने सीबीआई जांच की मांग की है। उनका आरोप है कि स्कूटर किराए पर देने वाला संदिग्ध है और उसकी जानकारी पुलिस जानबूझकर नहीं दे रही। राजा के भाई सचिन ने कहा कि राजा के गहनों और बटुए का गायब होना साफ लूट की ओर इशारा करता है। उन्होंने यह भी नकारा कि यह कोई दुर्घटना या ऑनर किलिंग है। सोनम की मां ने कहा, “अगर मेघालय सरकार ने समय पर मदद की होती, तो हमें यह दिन न देखना पड़ता।” परिवार ने सोनम के बारे में सूचना देने वाले को ₹5 लाख का इनाम देने की घोषणा की है।

राज्य में सनसनी, जांच पर नज़र:

मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा ने इस घटना को “अभूतपूर्व” बताया और भरोसा दिलाया कि सोनम को ढूंढने और न्याय दिलाने में कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी। उन्होंने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव से समन्वय किया है। इंदौर के सांसद शंकर लालवानी और सुमेर सिंह सोलंकी भी जांच पर नज़र रखे हुए हैं। टूरिज्म मंत्री पॉल लिंगडोह ने कहा कि “ऐसा अपराध मेघालय के इतिहास में पहले नहीं हुआ।”

फिर भी परिवार के आरोप गहरी जड़ें दिखाते हैं। उनका कहना है कि होटल कर्मचारी, गाइड और स्कूटर ऑपरेटर इस अपराध में शामिल हो सकते हैं। सचिन रघुवंशी ने पुलिस से इन्हें सख्ती से पूछताछ करने की मांग की। एक स्थानीय महिला कॉफी विक्रेता से हुई कथित कहासुनी को एसपी सिएम ने गंभीर नहीं माना और कहा कि ऐसी योजना किसी मामूली विवाद से नहीं बन सकती। परिवार ने एक अन्य विदेशी सैलानी, हंगरी के पुस्कास जोल्ट की हालिया मौत का भी ज़िक्र किया, जिसकी लाश लिविंग रूट ब्रिज के पास मिली थी, और कहा कि “ऐसी घटनाएं पहले भी हुई हैं, पर छिपा दी जाती हैं।”

CCTV फुटेज और अनसुलझे सवाल:

6 जून को नया CCTV फुटेज सामने आया जिसमें 22 मई को राजा और सोनम को शिलॉन्ग के एक होटल में चेक-इन करते देखा गया। यह उनकी गुमशुदगी से एक दिन पहले का वीडियो है, लेकिन इससे कोई साफ जानकारी नहीं मिलती। सोनम द्वारा 23 मई को किए गए अंतिम वॉइस मैसेज में थकान और स्थानीय खाने को लेकर नाराजगी झलकती है। उसने कहा, “मैंने उसे मना किया था, पर वह मेरी सुनता नहीं है।” यह किसी संभावित तनाव या असहजता की ओर इशारा करता है।

जैसे-जैसे एसआईटी जांच कर रही है—क्या यह डकैती थी? या मानव तस्करी?—सोनम की अनुपस्थिति और डरावनी संभावनाओं को जन्म दे रही है। क्या उसका अपहरण हुआ? क्या इस जोड़े ने पहाड़ियों में कुछ खतरनाक देख लिया था? या कहीं यह किसी बड़ी साजिश का हिस्सा तो नहीं? बरामद मछेती, लूटे गए सामान और लापता पत्नी के बीच यह एक सुनियोजित अपराध लगता है, लेकिन सोनम के न मिलने से मामला और भी रहस्यमय हो गया है।

राजा रघुवंशी की हत्या और सोनम की गुमशुदगी ने भारतभर में शोक और चिंता की लहर दौड़ा दी है। इंदौर में राजा के अंतिम संस्कार के पोस्टर में लिखा था: “मैं मरा नहीं… मुझे मारा गया है।” जैसे-जैसे परिवार की न्याय की पुकार तेज़ हो रही है, CBI जांच की मांग बढ़ रही है, और सोनम की किस्मत अनजान बनी हुई है—पूरा देश इस मामले की ओर टकटकी लगाए हुए है। क्या एसआईटी सच को सामने ला पाएगी? या यह रहस्य मेघालय की धुंध भरी खाइयों में हमेशा के लिए दफन हो जाएगा?

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