TRENDING TAGS :
Pratapgarh News : मौसम विभाग ने जारी की वर्षा व वज्रपात की चेतावनी, ADM ने दी एडवाइजरी
Pratapgarh News : प्रतापगढ़ में 30 और 31 अक्टूबर को भारी वर्षा व वज्रपात की चेतावनी जारी, ADM आदित्य प्रजापति ने लोगों से सतर्क रहने और सुरक्षा उपाय अपनाने की अपील की।
Pratapgarh News
Pratapgarh News : अपर जिलाधिकारी (वि0/रा0) आदित्य प्रजापति ने बताया है कि मौसम विभाग (आई.एम.डी.) लखनऊ द्वारा जनपद प्रतापगढ़ को आगामी कुछ दिनो (दिनांक 30 अक्टूबर से 31 अक्टूबर, 2025 तक) के लिए जनपद को येलो जोन में प्रर्दशित किया गया है, जैसा कि विगत दिवसों में जनपद में वर्षा के साथ वज्रपात (आकाशीय विद्युत), मेघ गर्जन, तड़ित झंझावत, तेज झोकेदार एवं भारी वर्षा मौसम की आगामी दिवसों हेतु चेतावनी प्राप्त हुई है। उन्होने जनपद में भारी वर्षा एवं वज्रपात से बचाव के संबंध में “क्या करें, क्या न करें“ के सम्बन्ध में एडवाइजरी जारी कर दी है।
उन्होने बताया है कि आंधी-तूफान और भारी वर्षा एवं वज्रपात के दौरान ऊँची इमारतों, पेड़ों, मनुष्यों, जानवरों आदि पर बिजली गिरने की घटनाएं होती रहती हैं, जिससे जान-माल का नुकसान होता हैं। सावधानी और तैयारी ही एकमात्र तरीका है जिसके द्वारा वज्रपात के खतरे को कम किया जा सकता है या उसके प्रभाव से बचा जा सकता है। इसके के अतिरिक्त विभिन्न आपदओं के जोखिम को न्यूनीकृत करने हेतु राहत एवं बचाव के कार्यों को और भी प्रभावी एवं सक्रिय किये जाने हेतु एंड्रॉयड मोबाइल फोन के प्ले स्टोर से सचेत एवं दामिनी मोबाइल एप अनिवार्य रूप से डाउनलोड कराते हुए इन मोवाइल एप के माध्यम से प्राप्त पूर्व की चेतावनी एवं एडवाइजरी के प्रभावी उपयोग से होने वाली क्षति को न्यूनीकृत किया जा सकता है।
उन्होने बताया है कि यदि आप खुले में हो तो शीघ्रातिशीघ्र किसी पक्के मकान में शरण लें, व्यर्थ की यात्रा से बचें, खिड़कियों, दरवाजे, बरामदे एवं छत से दूर रहे। ऐसी वस्तुएं, जो बिजली की सुचालक हैं. उनसे दूर रहें। बिजली के उपकरणों या तार के साथ संपर्क से बचे व बिजली के उपकरणों को बिजली के संपर्क से हटा दें। तालाब और जलाशयों से भी दूरी बनाये रखें। समूह में न खडे हो, बल्कि अलग-अलग खड़े रहे। यदि आप जंगल में हो तो बोने एवं घने पेड़ों के शरण में चले जायें। बाहर रहने पर धातु से बनी वस्तुओं का उपयोग न करें। बाइक, बिजली या टेलीफोन का खंभा, तार की बाड़, मशीन आदि से दूर रहे। धातु से बने कृषि यंत्र डंडा आदि से अपने को दूर कर दें। आसमानी बिजली के झटके से घायल होने पर पीडित व्यक्ति को तत्काल नजदीकी प्राथमिक चिकित्सा केन्द्र ले जाये।
स्थानीय रेडियों अन्य संचार साधनों से मौसम की जानकारी प्राप्त करते रहें। यदि आप खेत खलिहान में काम कर रहे हो और किसी सुरक्षित स्थान की शरण न ले पायें हो तो जहां हैं यहीं रहें, हो सके तो पैरों के नीचे सूखी चीजें से जैसे लकड़ी, प्लास्टिक, बोरा या सूखे पत्ते रख लें तथा यथाशीघ्र सुरक्षित स्थान पर शरण लें। दोनो पैरो को आपस में सटा लें एवं दोनों हाथों से कानों को बंद कर अपने सिर को जमीन की तरफ यथा संभव शरीर को झुका लें तथा सिर को जमीन से न सटाए। जमीन पर कदापि न लेटें, ऊंचे इमारत वाले क्षेत्रों में शरण नहीं लें। साथ ही विजली एवं टेलीफोन के खंभों के नीचे कदापि शरण नहीं लें, क्योंकि ऊंचे वृक्ष, ऊंची इमारते एवं टेलीफोन/बिजली के खम्भे आसमानी बिजली को अपनी ओर आकर्षित करते हैं। पैदल जा रहे हो तो धातु की डंडी वाले छातों का उपयोग न करें। यदि घर में हो तो पानी का नल, फ्रिज, टेलीफोन आदि को न छुए।
वज्रपात के मामले में मृत्यु का तात्कालिक कारण हृदयाघात है। अगर जरूरी हो तो “संजीवन क्रिया, प्राथमिक चिकित्सा“ कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन (सीपीआर) प्रारम्भ कर दें। “संजीवन क्रिया, प्राथमिक चिकित्सा“ कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन (सीपीआर) देने से पूर्व यह सुनिश्चित कर लें कि प्रभावित व्यक्ति के शरीर से विद्युत का प्रभाव न हो रहा हो। यह सुनिश्चित कर लें कि पीड़ित की नाड़ी एवं श्वास चल रही हो।उन्होने बताया है कि वज्रपात के बाद घर के अंदर तब तक रहे जब तक कि आसमान साफ न हो जाए। स्थानीय प्रशासन को क्षति और मृत्यु की जानकारी दें। अगर कोई व्यक्ति वज्रपात की चपेट में आ गया है, तो तुरंत 112 पर कॉल करें और यथाशीघ्र पीड़ित को अस्पताल ले जाए।
AI Assistant
Online👋 Welcome!
I'm your AI assistant. Feel free to ask me anything!



