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हम न्याय चाहते हैं,दोषियों को फांसी दो! पटना कॉलेज में गोलीकांड के बाद फूटा छात्रों का गुस्सा,कैंपस के बाहर भारी पुलिस बल तैनात!
Patna veterinary college student shot dead: गुरुवार को हुए गोलीकांड के बाद, अगले ही दिन सैकड़ों छात्र धरने पर बैठ गए। नारों से आसमान गूंज उठा, हम न्याय चाहते हैं!, दोषियों को फांसी दो। वेटनरी कॉलेज के गेट के बाहर भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया है।
Patna veterinary college student shot dead: पटना की शांत सड़कों पर शुक्रवार की सुबह अचानक बवाल मच गया। गुरुवार को हुए गोलीकांड के बाद, अगले ही दिन सैकड़ों छात्र धरने पर बैठ गए। नारों से आसमान गूंज उठा, हम न्याय चाहते हैं!, दोषियों को फांसी दो। वेटनरी कॉलेज के गेट के बाहर भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है, छात्रों में आक्रोश है और प्रशासन पर सवालों की बौछार हो रही है।
गुरुवार शाम को जो हुआ, उसने पूरे कॉलेज को दहशत में डाल दिया
शाम के करीब 5 बजे वेटनरी कॉलेज के छात्र मयंक अपने दोस्तों के साथ क्रिकेट खेलने के लिए कॉलेज मैदान में पहुंचे। लेकिन वहां पहले से कुछ बाहरी लड़के खेल रहे थे। मयंक और उसके दोस्तों ने जब उन्हें यह कहते हुए हटने को कहा कि यह कॉलेज का ग्राउंड है, तो बात बढ़ गई। पहले बहस हुई, फिर गाली-गलौज और देखते ही देखते मामला हाथापाई तक पहुंच गया।
तभी बाहरी लड़कों में से एक ने अपने दोस्तों को फोन कर बुलाया। कुछ ही देर में और लड़के पहुंचे और उनमें से एक ने कमर से हथियार निकाला और सीधे गोली चला दी। गोली मयंक के हाथ की उंगली में लगी। मौके पर भगदड़ मच गई। चारों तरफ चीख-पुकार और खून में लथपथ मयंक को दोस्तों ने तुरंत अस्पताल पहुंचाया। उसे IGIMS में भर्ती कराया गया और फिलहाल उसकी हालत खतरे से बाहर है।
गोली चलाने के बाद आरोपी फरार
घटना के तुरंत बाद आरोपी मौके से फरार हो गए। गोली चलने की आवाज सुनकर पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई। स्थानीय लोग डर के मारे घरों में दुबक गए और छात्रों में खौफ का माहौल फैल गया। पुलिस को जैसे ही सूचना मिली, एयरपोर्ट थाने की टीम मौके पर पहुंची लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी। आरोपियों का कोई सुराग नहीं मिल पाया। थानेदार का कहना है कि जांच जारी है और कुछ संदिग्धों की पहचान की जा रही है।
ये कोई पहली बार नहीं था
घटना के बाद छात्रों का गुस्सा और भी भड़क गया क्योंकि यह पहली बार नहीं था जब बाहरी लड़कों से ऐसा विवाद हुआ हो। एक छात्र ने बताया कि इससे पहले भी मैदान में खेलने को लेकर कई बार झगड़े हो चुके हैं। कई बार उन्होंने कॉलेज प्रशासन को इसकी लिखित शिकायत दी, लेकिन न कोई सुरक्षाकर्मी तैनात हुआ, न कोई सख्त कार्रवाई। छात्रों का आरोप है कि कॉलेज प्रशासन ने अगर पहले ही मामले को गंभीरता से लिया होता, तो आज मयंक अस्पताल में न होता। अब छात्र खुलेआम प्रशासन की नाकामी को कोस रहे हैं और पूरे कॉलेज में आक्रोश का माहौल है।
शुक्रवार को छात्र भूख हड़ताल और धरने पर बैठ गए
गुरुवार की घटना के बाद शुक्रवार सुबह कॉलेज के मुख्य गेट के सामने छात्र जमा होने लगे। उन्होंने हाथों में पोस्टर लिए हुए नारेबाज़ी शुरू कर दी। हम दोषियों की गिरफ्तारी चाहते हैं, कैंपस में बाहरी लोगों की एंट्री बंद हो, जैसे नारों से परिसर गूंज उठा। कुछ छात्र भूख हड़ताल पर भी बैठ गए हैं।
शहर में तनाव, प्रशासन चौकन्ना
पुलिस ने मौके पर भारी संख्या में बल तैनात कर दिया है ताकि स्थिति बिगड़ने न पाए। पुलिस अधिकारी छात्रों को समझाने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन छात्र बिना दोषियों की गिरफ्तारी के पीछे हटने को तैयार नहीं हैं। प्रशासन की ओर से फिलहाल कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन अंदरखाने जांच तेज़ करने की बात कही जा रही है।
क्या पटना में छात्र अब सुरक्षित नहीं?
एक शैक्षणिक संस्थान, जहां छात्रों को ज्ञान, सुरक्षा और आत्मविश्वास मिलना चाहिए, वहां अगर गोलियां चल रही हैं और प्रशासन आंख मूंदे बैठा है, तो यह पूरे सिस्टम पर एक बड़ा सवालिया निशान है। क्या पटना के छात्रों को अब अपनी जान हथेली पर रखकर मैदान में उतरना होगा? क्या शिक्षा के मंदिर अब अपराधियों की रणभूमि बनते जा रहे हैं? पटना में इस गोलीकांड ने न सिर्फ एक छात्र को जख्मी किया, बल्कि पूरे छात्र समुदाय के भरोसे को भी छलनी कर दिया। अगर जल्द कार्रवाई नहीं हुई, तो ये आक्रोश और भी विकराल रूप ले सकता है।
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