TRENDING TAGS :
Gorakhpur News: NAAC की तैयारी में जुटा DDU जल्द जारी करेगा विभागीय रैंकिंग
Gorakhpur News: माना जा रहा है कि डीडीयू की यह कवायद नैक सर्वे को लेकर है। ऐसे करने से नैक में डीडीयू की रैंकिंग में सुधार होगा। डीडीयू के विभागों की रैंकिंग के बाद संबंद्ध महाविद्यालयों की रैकिंग पर काम शुरू होगा।
कुलपति प्रोफेसर पूनम टंडन (photo: social media )
Gorakhpur News: दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय आगामी शैक्षणिक सत्र में अपने विभिन्न विभागों एवं संकायों की एक समेकित विभागीय रैंकिंग जारी करने जा रहा है। यह निर्णय कुलपति प्रोफेसर पूनम टंडन की अध्यक्षता में आयोजित विभागाध्यक्षों एवं विश्वविद्यालय अधिकारियों की समीक्षा बैठक में लिया गया। माना जा रहा है कि डीडीयू की यह कवायद नैक सर्वे को लेकर है। ऐसे करने से नैक में डीडीयू की रैंकिंग में सुधार होगा। डीडीयू के विभागों की रैंकिंग के बाद संबंद्ध महाविद्यालयों की रैकिंग पर काम शुरू होगा।
कुलपति प्रो. टंडन ने स्पष्ट किया कि इस रैंकिंग का मुख्य उद्देश्य विभागों के बीच स्वस्थ प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देना, शैक्षणिक गुणवत्ता को प्रोत्साहित करना तथा छात्रों, शिक्षकों एवं कर्मचारियों में अपने विभाग और विश्वविद्यालय के प्रति गौरव एवं उत्तरदायित्व की भावना को सुदृढ़ करना है।
प्रस्तावित रैंकिंग प्रणाली दो प्रमुख आधारों पर आधारित होगी
प्रथम, शैक्षणिक प्रदर्शन, जिसमें शोध प्रकाशन, नवाचार, शिक्षण गुणवत्ता, छात्र उपलब्धियां, फैकल्टी विकास और संस्थानिक सहभागिता जैसे मापदंड शामिल किए जाएंगे।
द्वितीय, स्वच्छता एवं पर्यावरणीय प्रबंधन, जिसमें विभागीय परिसर की स्वच्छता, कचरा प्रबंधन, प्लास्टिक-मुक्त परिसर, वृक्षारोपण, जल संरक्षण तथा NSS/NCC इकाइयों की सहभागिता जैसे पहलुओं का मूल्यांकन किया जाएगा। बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि रैंकिंग योजना के द्वितीय चरण में विश्वविद्यालय से संबद्ध महाविद्यालयों को भी शामिल किया जाएगा।
पृथक मूल्यांकन समिति का होगा गठन
इसके लिए एक पृथक मूल्यांकन समिति का गठन किया जाएगा जो एकरूप मापदंडों के आधार पर मूल्यांकन सुनिश्चित करेगी। यह पहल न केवल विश्वविद्यालय के भीतर गुणवत्तापरक शिक्षा को बढ़ावा देगी, बल्कि NAAC मूल्यांकन, NIRF रैंकिंग एवं अन्य राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय संस्थागत मूल्यांकन मानकों की दिशा में भी सहायक सिद्ध होगी। साथ ही, यह विभागीय कार्यप्रणाली में पारदर्शिता, उत्तरदायित्व और नवाचार को बढ़ावा देने वाली एक प्रभावशाली पहल होगी। कुलपति प्रो. टंडन ने कहा कि, यह विभागीय रैंकिंग प्रणाली एक सकारात्मक प्रतिस्पर्धा को जन्म देगी, जिसमें हर विभाग स्वयं को बेहतर बनाने के लिए प्रयास करेगा। यह हमारी शिक्षण परंपरा को 21वीं सदी के वैश्विक मानकों के अनुरूप ढालने की दिशा में एक सशक्त पहल है।
Start Quiz
This Quiz helps us to increase our knowledge