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UP में BJP के 7 एयरपोर्ट 'हवा-हवाई'! करोड़ों खर्च के बाद 6 घरेलू, 1 इंटरनेशनल उड़ानें बंद; अखिलेश ने साधा निशाना
Uttar Pradesh Airport Closed: उत्तर प्रदेश के कई नए एयरपोर्ट्स यात्रियों की कमी और संचालन समस्याओं के कारण बंद; अखिलेश यादव ने भाजपा सरकार पर निशाना साधा।
Uttar Pradesh Airport Closed: उत्तर प्रदेश में लोकसभा और विधानसभा चुनावों से पहले कई नए एयरपोर्ट्स का उद्घाटन किया गया था। लेकिन अब इनमें से 6 घरेलू और 1 अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट की उड़ानें बंद हो चुकी हैं। इन एयरपोर्ट्स पर यात्रियों की कमी, संचालन संबंधी समस्याएं और आसपास कनेक्टिविटी न होने के कारण flights रद्द करनी पड़ीं। इससे इन पर किए गए करोड़ों रुपये के खर्च पर सवाल उठने लगे हैं।
अखिलेश यादव का ट्वीट
अखिलेश यादव ने कहा है कि भाजपा सरकार की कई योजनाएं सिर्फ़ कमीशन कमाने के लिए बनाई जाती हैं, उन्हें चलाने का कोई इरादा नहीं होता। उन्होंने कहा कि भाजपा के बनाए गए हवाई अड्डे भी उसी श्रेणी में आते हैं, दिखावटी हैं और असल में हवा-हवाई साबित हुए हैं।
उत्तर प्रदेश में लोकसभा और विधानसभा चुनावों से पहले कई नए एयरपोर्ट्स का उद्घाटन किया गया था। लेकिन अब इनमें से 6 घरेलू और 1 अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट की उड़ानें बंद हो चुकी हैं। इन एयरपोर्ट्स पर यात्रियों की कमी, संचालन संबंधी समस्याएं और आसपास कनेक्टिविटी न होने के कारण flights रद्द करनी पड़ीं। इससे इन पर किए गए करोड़ों रुपये के खर्च पर सवाल उठने लगे हैं। उत्तर प्रदेश में लोकसभा और विधानसभा चुनावों से पहले कई नए एयरपोर्ट का उद्घाटन हुआ था, लेकिन अब इनमें से 6 घरेलू और 1 अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट की उड़ानें बंद हो गई हैं। यात्रियों की कमी, संचालन संबंधी समस्याओं और आसपास कनेक्टिविटी न होने के कारण ये एयरपोर्ट अब काम नहीं कर रहे हैं, जिससे इन पर किए गए करोड़ों रुपये के खर्च पर सवाल खड़े हो गए हैं।
बुंदेलखंड का पहला एयरपोर्ट, चित्रकूट, से लखनऊ के लिए उड़ानें 12 मार्च 2024 को शुरू हुई थीं, जिसकी किराया ₹55 था और सफर का समय 55 मिनट था। एयरबिग कंपनी ने इन उड़ानों का संचालन किया, लेकिन 16 दिसंबर 2024 से ये उड़ानें बंद हो गईं। एयरपोर्ट डायरेक्टर आलोक सिंह के मुताबिक, संचालन संबंधी समस्याओं और विजिबिलिटी की दिक्कतों के कारण कंपनी ने उड़ानें रोक दी हैं। फिलहाल एयरपोर्ट पर 70 कर्मचारी तैनात हैं, लेकिन कोई विमान उड़ान नहीं भर रहा है।
केस स्टडी 2: कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट
20 अक्टूबर 2021 को प्रधानमंत्री मोदी ने कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट का उद्घाटन किया था। इस पर करीब ₹260 करोड़ खर्च हुए, लेकिन 47 महीने बीत जाने के बाद भी अंतरराष्ट्रीय उड़ानें शुरू नहीं हो सकीं। दिल्ली-कुशीनगर फ्लाइट भी 7 नवंबर 2023 को बंद हो गई। एयरपोर्ट डायरेक्टर प्रणेश कुमार रॉय के मुताबिक, एयरपोर्ट पर इंस्ट्रूमेंट लैंडिंग सिस्टम (ILS) नहीं लग पाया क्योंकि 6 घरों का मामला कोर्ट में फंसा हुआ था, जो अब सुलझ चुका है। इसके अलावा यात्रियों की कमी भी बड़ी वजह रही।
श्रावस्ती एयरपोर्ट: रेलवे स्टेशन नहीं, फिर भी एयरपोर्ट
श्रावस्ती जिले में न तो रेलवे स्टेशन है और न ही सरकारी बस अड्डा, फिर भी यहां एयरपोर्ट बनाया गया। उद्घाटन के बाद लखनऊ के लिए 19 सीटर फ्लाइट शुरू हुई, जिसका किराया ₹523 रखा गया। लेकिन सड़क मार्ग से महज 3 घंटे में लखनऊ पहुंचा जा सकता है, इसलिए यात्रियों की संख्या कम रही और उड़ान बंद हो गई।
यूपी के अन्य प्रस्तावित एयरपोर्ट्स
उत्तर प्रदेश के पांच अन्य जिलों में एयरपोर्ट बन रहे हैं – मेरठ, ललितपुर, सोनभद्र, लखीमपुर खीरी और नोएडा (जेवर)। 26 नवंबर 2021 को शिलान्यास हुआ। यह एशिया का सबसे बड़ा एयरपोर्ट होगा। पहले चरण का काम लगभग पूरा हो गया है और 30 अक्टूबर 2025 को उद्घाटन की उम्मीद है। ललितपुर: मार्च 2021 में घोषित, यह एयरपोर्ट डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर और ड्रग पार्क के कारण भविष्य में अहम हो सकता है। लखीमपुर खीरी (पलिया): यहां से उड़ानें शुरू हुईं, लेकिन लखनऊ से कोई यात्री नहीं मिला। वापसी में सिर्फ एक यात्री के साथ विमान लौटा। इन घटनाओं से सवाल उठता है कि करोड़ों रुपये खर्च करने से पहले क्या यात्रियों की संख्या और कनेक्टिविटी का सही सर्वे किया गया था। कई जगहों पर आस-पास के जिलों में पहले ही उड़ानें चल रही हैं, जिससे नए एयरपोर्ट्स को पर्याप्त यात्री मिलना मुश्किल हो रहा है।
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