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UP ग्रामीण बैंक ऑफिसर्स-वर्कर्स ऑर्गेनाइजेशन का प्रथम संयुक्त अधिवेशन, क्या है ग्रामीण बैंक का महत्व
राजधानी के निराला नगर स्थित माधव सभागार में उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक ऑफिसर्स एवं वर्कर्स ऑर्गेनाइजेशन और भारतीय मजदूर संघ द्वारा आयोजित प्रथम संयुक्त अधिवेशन का आयोजन किया गया।
Lucknow News: Photo-News Track
Uttar Pradesh News: राजधानी के निराला नगर स्थित माधव सभागार में उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक ऑफिसर्स एवं वर्कर्स ऑर्गेनाइजेशन और भारतीय मजदूर संघ द्वारा आयोजित प्रथम संयुक्त अधिवेशन का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक ऑफिसर्स एवं वर्कर्स ऑर्गेनाइजेशन और भारतीय मजदूर संघ ने एक मंच पर आकर ग्रामीण क्षेत्रों में बैंकिंग सेवाओं को बेहतर बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाने का संकल्प लिया।
अधिवेशन का उद्घाटन दीप प्रज्वलन के साथ हुआ, जिसमें क्षेत्रीय प्रचारक अनिल ने मुख्य रूप से समारोह को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम विशेष रूप से किसानों और खेतिहर मजदूरों को बेहतर बैंकिंग सेवाएं प्रदान करने के उद्देश्य से आयोजित किया गया है। सरकार भी इस दिशा में काम कर रही है ताकि ग्रामीण इलाकों में बैंकिंग सुविधाएं अधिक सुलभ हो सकें।
डिप्टी सीएम ने की बैंकिंग सुविधाओं की अहमियत पर बात
कार्यक्रम में प्रदेश के उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक ने कहा कि ग्रामीण बैंक प्रदेश की अर्थव्यवस्था के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं। हमारे प्रयास हैं कि हम ग्रामीण जनता को आधुनिक बैंकिंग सुविधाएं उपलब्ध करवा सकें। अधिकारियों और कर्मचारियों से अनुरोध है कि वे हर गांव के घर तक बैंकिंग सेवाएं पहुंचाने में मदद करें।
उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक का महत्व
कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक के अध्यक्ष यादव सिंह ठाकुर ने भी अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि भारत सरकार के 7 अप्रैल 2025 के अधिसूचना के तहत उत्तर प्रदेश ग्रामीण बैंक का गठन हुआ था। आज हमारी बैंक की 4500 शाखाएं हैं और 19,233 अधिकारी और कर्मचारी कार्यरत हैं। हम लगातार ग्रामीण क्षेत्रों में बेहतर बैंकिंग सेवाएं प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
राष्ट्रीय ग्रामीण बैंक के गठन की दिशा में महत्वपूर्ण कदम
अखिल भारतीय अधिकारी संगठन के उपाध्यक्ष ललित सिंह ने सरकार द्वारा एक राज्य एक ग्रामीण बैंक के समामेलन के बारे में बात करते हुए इसे राष्ट्रीय ग्रामीण बैंक के गठन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने इसके सकारात्मक प्रभावों की चर्चा की और कहा कि यह कदम ग्रामीण क्षेत्र में बैंकिंग को और सशक्त बनाएगा।
संगठनों ने उठाई कर्मचारियों की समस्याएं
इस दौरान प्रमोशन एवं अप्वाइंटमेंट रूल्स 2010 में संशोधन, बाय स्केल 4 की पुनर्व्याख्या और स्पांसर बैंकों के समकक्ष भत्तों एवं अन्य लाभों की मांग की गई। भारतीय ग्रामीण बैंक अधिकारी संगठन के प्रभारी राजेंद्र शर्मा और सचिव धीरेंद्र प्रताप सिंह ने इस अधिवेशन को ग्रामीण बैंक कर्मचारियों की आवाज को सशक्त बनाने वाला बताया।
800 से अधिक अधिकारी और कर्मचारी उपस्थित
इस कार्यक्रम में प्रदेशभर से आए 800 से अधिक ग्रामीण बैंक के अधिकारी और कर्मचारी मौजूद थे, जिन्होंने अधिवेशन के उद्देश्यों और विचारों का समर्थन किया। साथ ही, भारतीय मजदूर संघ के कार्यकर्ता भी इस कार्यक्रम में शामिल हुए।
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