TRENDING TAGS :
मुझे इजराइल से नफरत हो गई है’… Trump का फूटा गुस्सा, इजराइल-ईरान में धोखा खाने के बाद ट्रंप ने ली रूस-यूक्रेन जंग की जिम्मेदारी!
Donald Trump Statement: “यह इजराइल और ईरान के संघर्ष के मुकाबले एक शांत समय होगा। मैं अपने सभी अच्छे यूरोपीय मित्रों से मिलने के लिए तैयार हूं। उम्मीद है कि बहुत कुछ हासिल किया जाएगा।” मतलब साफ है — ट्रंप अब NATO समिट में यूरोपीय नेताओं से सीधे मुलाकात कर रूस-यूक्रेन युद्ध रुकवाने की कोशिश करेंगे।
Donald Trump Statement: दुनिया अभी इजराइल-ईरान की जंग से उबर भी नहीं पाई थी कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक और सनसनी फैला दी है। मिडिल ईस्ट की आग पर काबू पाने का क्रेडिट लेने के बाद अब ट्रंप ने दुनिया को चौंकाते हुए ऐलान कर दिया है कि अगला नंबर रूस-यूक्रेन युद्ध का है। जी हां, वही जंग जिसने पिछले तीन सालों से यूरोप और एशिया को हिला रखा है। अब ट्रंप कह रहे हैं कि वो इस युद्ध को भी खत्म करवाएंगे। लेकिन सवाल ये है कि क्या इजराइल-ईरान संघर्ष की तरह ही रूस-यूक्रेन जंग को लेकर भी ट्रंप का दावा एक और छलावा साबित होगा?
व्हाइट हाउस से जारी बयान ने इस खबर को बम की तरह दुनिया भर में उड़ा दिया। बयान में ट्रंप की तरफ से कहा गया — “यह इजराइल और ईरान के संघर्ष के मुकाबले एक शांत समय होगा। मैं अपने सभी अच्छे यूरोपीय मित्रों से मिलने के लिए तैयार हूं। उम्मीद है कि बहुत कुछ हासिल किया जाएगा।” मतलब साफ है — ट्रंप अब NATO समिट में यूरोपीय नेताओं से सीधे मुलाकात कर रूस-यूक्रेन युद्ध रुकवाने की कोशिश करेंगे। लेकिन जिस तरह उन्होंने इजराइल-ईरान संघर्ष के नाम पर पूरी दुनिया को गुमराह किया, अब रूस-यूक्रेन को लेकर उनकी बातों पर कौन यकीन करेगा?
इजराइल-ईरान में शांति का ढोंग?
ट्रंप अभी तक खुद को ‘डील मेकर’ कहकर दुनिया में बेच रहे हैं, लेकिन हकीकत ये है कि उनकी शांति की डील मिडिल ईस्ट में पल भर भी नहीं टिक पाई। मंगलवार को उन्होंने कैमरे के सामने आकर ऐलान किया कि इजराइल अब ईरान पर हमला नहीं करेगा। सीजफायर लागू हो चुका है। लेकिन जैसे ही बयान खत्म हुआ, इजराइल ने एक और मिसाइल हमले से पूरा खेल पलट दिया। ट्रंप की पूरी रणनीति ध्वस्त होती दिखी। उन्होंने अमेरिका और दुनिया को समझाने की कोशिश की कि ईरान-इजराइल शांति के लिए तैयार हैं। लेकिन हकीकत ये निकली कि दोनों पक्ष सीजफायर के नाम पर बस एक-दूसरे को धोखा दे रहे थे। और इसका सबसे बड़ा झटका खुद ट्रंप को लगा, जब उन्होंने गुस्से में कहा — “मैं इजराइल से खुश नहीं हूं।”
सीजफायर का झूठ, जंग का सच
ट्रंप ने इजराइल पर गुस्सा जाहिर करते हुए साफ कहा कि जिस समझौते को लेकर उन्होंने दुनिया भर में अपनी पीठ थपथपाई थी, उसे इजराइल ने कुछ घंटों में रौंद डाला। उनका आरोप था कि इजराइल ने एक रॉकेट हमले की आशंका के आधार पर ईरान पर हमला कर दिया, जबकि वो रॉकेट इजराइली सीमा में गिरा ही नहीं था। इतना ही नहीं, ट्रंप ने कहा — “मुझे इस बात से ज्यादा नाखुश हूं कि इजराइल ने आज सुबह फिर हमला किया।” अब दुनिया पूछ रही है — अगर ट्रंप इजराइल और ईरान जैसे दो देशों को भी काबू में नहीं रख पाए, तो क्या वो रूस और यूक्रेन जैसे महाशक्तियों के संघर्ष को रोक पाएंगे? क्या ये सिर्फ चुनावी ड्रामा है या वाकई कोई कूटनीतिक प्लान?
रूस-यूक्रेन जंग रोक पाएंगे ट्रंप?
अब नजरें NATO समिट पर टिकी हैं, जहां ट्रंप यूरोपीय नेताओं से मिलेंगे। सवाल ये है कि क्या पुतिन उनके आगे झुकेंगे? या ट्रंप सिर्फ पुराने वादों की तरह इस बार भी सिर्फ कैमरों के सामने शांति का दिखावा करके निकल जाएंगे? इजराइल-ईरान जंग के नाम पर ट्रंप की ‘शांति डील’ पहले ही दुनिया के सामने फेल हो चुकी है। अब रूस-यूक्रेन की बारी है। क्या इस बार भी सिर्फ भाषण मिलेंगे या वाकई दुनिया युद्ध की आग से बाहर निकलेगी? फिलहाल तो ट्रंप की शांति योजना सिर्फ शब्दों में है, मैदान में नहीं। और मिडिल ईस्ट की मिसाइलें बता रही हैं — जंग अभी खत्म नहीं हुई, असली खेल तो अब शुरू होगा।
Start Quiz
This Quiz helps us to increase our knowledge