'मेरी वजह से डिप्टी CM बने तेजस्वी!' प्रशांत किशोर के दावे से उठा सियासी तूफान

Bihar Politics: बिहार की सियासत में नया भूचाल! प्रशांत किशोर ने दावा किया कि उनकी सहमति के बिना तेजस्वी यादव कभी डिप्टी CM नहीं बन पाते। PK के इस बयान से नीतीश कुमार और लालू परिवार की राजनीति में मचा हड़कंप।

Harsh Srivastava
Published on: 25 Aug 2025 8:26 PM IST
मेरी वजह से डिप्टी CM बने तेजस्वी! प्रशांत किशोर के दावे से उठा सियासी तूफान
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Bihar Politics: बिहार की चुनावी हवा में अचानक एक बड़ा धमाका हुआ है। जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर (PK) ने एक ऐसा दावा किया है, जिसने राज्य की राजनीति में हलचल मचा दी है। उनका कहना है कि अगर उनकी सहमति नहीं होती, तो तेजस्वी यादव कभी उप-मुख्यमंत्री नहीं बन पाते। यह दावा सिर्फ एक बयान नहीं, बल्कि बिहार के सत्ता के गलियारों में चल रही अंदरूनी खींचतान का एक बड़ा पर्दाफाश है। क्या है PK का यह दावा और क्यों इसने नीतीश कुमार और लालू यादव के परिवार को बेचैन कर दिया है?

तेजस्वी को लेकर PK का सनसनीखेज खुलासा

आजतक के साथ एक एक्सक्लूसिव बातचीत में प्रशांत किशोर ने सीधे-सीधे कहा, "अगर हमारी सहमति नहीं होती तो, तेजस्वी यादव भी उपमुख्यमंत्री नहीं बन पाए होते, जाकर लालू यादव जी से पूछ लीजिएगा।" यह बयान किसी भी राजनीतिक पंडित के लिए चौंकाने वाला हो सकता है। PK ने दावा किया कि 2015 के विधानसभा चुनाव के बाद बनी सरकार में कैबिनेट के नामों पर भी उनकी मुहर लगती थी। उनका कहना है कि जिन नामों पर उन्होंने विरोध जता दिया था, वे मंत्री नहीं बन पाए थे। यह बयान न केवल तेजस्वी यादव की राजनीतिक हैसियत पर सवाल उठाता है, बल्कि यह भी दिखाता है कि 2015 में बिहार की सरकार बनाने और मंत्रिमंडल तय करने में प्रशांत किशोर की भूमिका कितनी बड़ी थी।

नीतीश कुमार पर PK का हमला, 'अब वह नहीं रहे'

जब प्रशांत किशोर से नीतीश कुमार के बारे में पूछा गया, तो उन्होंने कहा कि उनसे उनका अब भी व्यक्तिगत स्नेह है। लेकिन, उन्होंने आगे कहा, "अब राजनीतिक तौर पर नीतीश बाबू की मानसिक और शारीरिक स्थिति वो नहीं है, जिस नीतीश कुमार को हम लोग जानते थे और सहयोग किया था।" यह बयान नीतीश कुमार की वर्तमान नेतृत्व क्षमता पर एक सीधा और कड़ा प्रहार है।

PK ने खुद और तेजस्वी यादव के बीच फर्क बताते हुए कहा कि तेजस्वी ने सिर्फ मंत्री और मुख्यमंत्री बनने के लिए नीतीश कुमार का साथ दिया। उन्होंने कहा, "तेजस्वी यादव को जिस दिन उपमुख्यमंत्री बना दिया गया, उस दिन नीतीश कुमार में उनको विकास पुरुष दिखने लगा। बिहार में शराब बंदी नहीं दिखने लगी और बिहार में स्कॉटलैंड दिखने लगा। उनका मकसद सिर्फ एमएलए और मंत्री बनना है, हमारा वो मकसद नहीं है।"

'जन सुराज' का लक्ष्य: सत्ता नहीं, बदलाव

प्रशांत किशोर ने बार-बार यह दोहराया कि उनका उद्देश्य बिहार में 'सामाजिक-राजनीतिक आमूल-चूल परिवर्तन' लाना है। उन्होंने कहा कि वह विधायक या मंत्री बनने के लिए नहीं आए हैं। उन्होंने 2020 की घटना का जिक्र किया, जब नीतीश कुमार ने उन्हें ऑफर दिया था, जिसे उन्होंने ठुकरा दिया था। यह कहानी PK को तेजस्वी यादव से अलग खड़ा करती है।

प्रशांत किशोर के इन बयानों ने बिहार की राजनीति में एक नया अध्याय खोल दिया है। उन्होंने सीधे तौर पर नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव दोनों की विश्वसनीयता पर सवाल उठाए हैं। अब देखना यह है कि सत्ताधारी दल और विपक्ष, दोनों PK के इन तीखे हमलों का जवाब कैसे देते हैं। यह तय है कि यह बयान बिहार चुनाव में एक बड़ा मुद्दा बनने जा रहा है।

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Harsh Srivastava

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Harsh Shrivastava is an enthusiastic journalist who has been actively writing content for the past one year. He has a special interest in crime, politics and entertainment news. With his deep understanding and research approach, he strives to uncover ground realities and deliver accurate information to readers. His articles reflect objectivity and factual analysis, which make him a credible journalist.

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