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भारत में Apple के मैन्युफैक्चरिंग प्लान को बड़ा झटका, Foxconn ने 300 चीनी इंजीनियर्स को वापस बुलाया
Apple's Manufacturing Plan in India: भारत में Apple के मैन्युफैक्चरिंग प्लान को बड़ा झटका लगा है आइये जानते हैं आखिर क्यों Foxconn ने 300 चीनी इंजीनियर्स को वापस बुलाया गया है।
Apple's Manufacturing Plan in India (Image Credit-Social Media)
हाइलाइट्स:
• Foxconn ने भारत से 300 से अधिक चीनी इंजीनियर्स वापस बुलाए।
• iPhone 17 सीरीज के निर्माण पर संकट के बादल आते हुए दिख रहे है।
• बेंगलुरु में नया प्लांट भी संकट में।
• दुर्लभ खनिजों की आपूर्ति में रुकावट, बड़ी चुनौती के रूप में उभरी।
• सरकार से मदद की उम्मीद, पर स्थिति जल्द सुधरने के आसार कम।
Apple भारत में अपने प्रोडक्शन को तेजी से बढ़ाने की योजना पर काम कर रहा है, लेकिन अब इसके रास्ते में एक बड़ी रुकावट आ गई है। Foxconn, जो भारत में Apple की सबसे बड़ी कॉन्ट्रैक्ट मैन्युफैक्चरर है, ने 300 से ज्यादा चीनी इंजीनियर्स और टेक्नीशियन्स को वापस चीन भेज दिया है। इस फैसले का सीधा असर Apple के भारत में मैन्युफैक्चरिंग प्लान पर पड़ सकता है।
Foxconn भारत में Apple के iPhone का उत्पादन करती है। हाल ही में कंपनी ने अपने भारतीय प्लांट्स से चीनी कर्मचारियों को वापस बुला लिया है। Foxconn का कहना है कि इंजीनियर्स और टेक्नीशियन्स को चीन भेजना जरूरी था क्योंकि कंपनी को वहां की फैक्ट्री में कामकाज संभालने के लिए उनकी जरूरत है। हालांकि, इसका असर भारत में iPhone मैन्युफैक्चरिंग पर जरूर पड़ेगा।
iPhone 17 सीरीज के प्लान पर संकट :
Foxconn के इस कदम का सबसे बड़ा असर iPhone 17 सीरीज के प्लान पर पड़ सकता है। Apple भारत में iPhone 17 सीरीज के लिए प्रोडक्शन शुरू करने की तैयारी में था। खासकर iPhone 17 Pro वेरिएंट्स का ट्रायल प्रोडक्शन भारत में शुरू किया जाना था। इसके लिए Tata Electronics के साथ मिलकर तैयारी की जा रही थी।
सूत्रों के मुताबिक, Foxconn ने सितंबर के आसपास iPhone 17 सीरीज का ट्रायल प्रोडक्शन शुरू करने का प्लान तैयार किया था। हालांकि, चीनी इंजीनियर्स की वापसी से इस योजना पर पानी फिर सकता है। इससे Apple की मैन्युफैक्चरिंग स्ट्रैटेजी पर असर पड़ेगा।
बेंगलुरु में नया प्लांट, लेकिन अब चिंता बढ़ी :
Apple भारत में मैन्युफैक्चरिंग विस्तार के तहत बेंगलुरु में एक बड़ा प्लांट बना रहा है। इस प्लांट में जुलाई के बाद उत्पादन शुरू होने की उम्मीद थी। Foxconn इस प्लांट में करीब 1,000 नई भर्तियों की योजना पर काम कर रही है। इसके बाद कंपनी के भारत में कर्मचारियों की संख्या 40,000 से अधिक हो सकती थी।
यह प्लांट Apple के लिए काफी अहम है, क्योंकि इससे भारत में iPhone उत्पादन में तेज़ी आनी थी। लेकिन अब इंजीनियर्स की कमी से इस प्लांट का काम भी धीमा पड़ सकता है।
Rare Earth Minerals की सप्लाई पर भी खतरा :
एक अन्य बड़ी समस्या Rare Earth Minerals की कमी है। ये खनिज iPhone जैसे इलेक्ट्रॉनिक प्रोडक्ट्स के निर्माण में अहम भूमिका निभाते हैं। Foxconn के सूत्रों के अनुसार, Rare Earth Minerals की सप्लाई में रुकावट आना एक गंभीर मुद्दा है, जो Apple के प्रोडक्शन पर सीधा असर डाल सकता है।
सूत्रों के मुताबिक, Foxconn अब ताइवान और वियतनाम से इंजीनियर्स बुलाने की योजना बना रहा है ताकि भारत में प्रोडक्शन जारी रखा जा सके। हालांकि, विशेषज्ञों का मानना है कि इस तरह से समस्या का हल निकालना आसान नहीं है। इसके पीछे तात्कालिक लागत बढ़ने और सप्लाई चेन में देरी जैसे कई कारण हैं।
सरकारी स्तर पर भी हल की कोशिशें :
इस पूरे मामले को लेकर Apple और Foxconn ने भारत सरकार और ताइवान सरकार से भी संपर्क किया है। MeitY मंत्रालय को इस संकट की जानकारी दी गई है। सरकार अब इस मसले पर विचार कर रही है।
उद्योग से जुड़े लोगों का कहना है कि आने वाले महीनों में भारत में मैन्युफैक्चरिंग विस्तार की राह कठिन हो सकती है। हालांकि, भारत में iPhone उत्पादन बढ़ाने की दीर्घकालिक योजना अब भी बनी हुई है, लेकिन फिलहाल Apple और Foxconn को इस झटके से उबरने में वक्त लग सकता है।
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