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Lucknow News: ज्येष्ठ के बड़े मंगल पर सामूहिक सुंदरकांड और भंडारा: लखनऊ के 101 मंदिरों में गूंज रही प्रभु राम की पावन गाथा
सपना गोयल ने कहा कि सुंदरकांड महा अभियान के माध्यम से हर सनातनी को भारतवर्ष की सनातन पहचान से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। यह न केवल धार्मिक जागरूकता का प्रतीक है, बल्कि राष्ट्र को सशक्त और समर्पित बनाने का भी संदेश देता है।
Bada Mangal Bhandra
Lucknow Today News: ज्येष्ठ माह बड़े मंगल के पावन मौके पर इंदिरा नगर के भूतनाथ मंदिर स्थित सावित्री प्लाजा परिसर में सामूहिक सुंदरकांड पाठ और भंडारे का आयोजन किया गया। यह आयोजन श्री परमानंद हरि हर मंदिर की संस्थापिका और सनातन ध्वज वाहिका सपना गोयल की अगुआई में संपन्न हुआ।
प्रभु श्रीराम के परम भक्त महाबली हनुमान जी के पावन पर्व पर लखनऊ के कई प्रमुख स्थानों जैसे कठौता चौराहा, सतरिख रोड स्थित हनुमान मंदिर, चिनहट का आनंद मोटर परिसर, फैजाबाद रोड का शिव मंदिर, रजत डिग्री कॉलेज परिसर, चिनहट का श्री परमानंद हरिहर मंदिर, इंदिरा नगर का सिद्धेश्वर मंदिर और रसूलपुर में भी मातृशक्ति द्वारा सुंदरकांड पाठ का आयोजन किया गया। सभी स्थानों पर पाठ के उपरांत भंडारा भी हुआ, जिसमें श्रद्धालुओं को छोला-चावल, पूड़ी-सब्जी, बूंदी और जल का वितरण किया गया।
अहिल्याबाई होल्कर की पुण्यस्मृति में चल रहा महा अभियान
संपूर्ण आयोजन सत्य सनातन नारी शक्ति द्वारा शुरू किए गए। सुंदरकांड महा अभियान का हिस्सा है, जो अहिल्याबाई होल्कर की पुण्य स्मृति को समर्पित है। इस अभियान के अंतर्गत 13 मई से 10 जून तक ज्येष्ठ के सभी बड़े मंगल को 101 मंदिरों में सुंदरकांड पाठ और भंडारों का आयोजन किया जा रहा है।
हनुमानजी को समर्पित है ज्येष्ठ के मंगलवार
कार्यक्रम के मुख्य आयोजन में सनातन ध्वज वाहिका सपना गोयल ने कहा कि लखनपुरी प्रभु श्रीराम के अनुज लक्ष्मण की नगरी मानी जाती है, वहां ज्येष्ठ का बड़ा मंगल विशेष महत्व रखता है। यह दिन बिना किसी भेदभाव के भीषण गर्मी में मानव सेवा और प्रेम का संदेश देता है। उन्होंने बताया कि हनुमानजी को कलियुग का देवता माना जाता है और मंगलवार का दिन विशेष रूप से उन्हें समर्पित होता है। मगर ज्येष्ठ मास के मंगलवार और भी अधिक प्रभावशाली माने जाते हैं। इसी कारण 27 मई, 3 जून और 10 जून को भी इसी प्रकार के आयोजन किए जाएंगे।
सनातन संस्कृति की पुनर्स्थापना का संदेश
सपना गोयल ने कहा कि सुंदरकांड महा अभियान के माध्यम से हर सनातनी को भारतवर्ष की सनातन पहचान से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। यह न केवल धार्मिक जागरूकता का प्रतीक है, बल्कि राष्ट्र को सशक्त और समर्पित बनाने का भी संदेश देता है। उन्होंने बताया कि अहिल्याबाई होल्कर की पुण्यतिथि 31 मई को है। मराठा साम्राज्य की इस महान रानी ने न केवल अपने राज्य में बल्कि पूरे भारतवर्ष में धार्मिक संरचनाओं, तीर्थ स्थलों, घाटों, प्याऊ और अन्न क्षेत्र की स्थापना की। उनका जीवन सेवा, समर्पण और सनातन मूल्यों के प्रचार का प्रेरक उदाहरण है।
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