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Meerut News: भाकियू का कमिश्नरी घेरावः ट्रैक्टर-ट्रॉली पर तिरंगा लगा किसान पहुंचेंगे कमिश्नरी
Meerut News: जिलाध्यक्ष अनुराग चौधरी का दावा है कि यह आंदोलन 150 से अधिक अनसुलझी समस्याओं को लेकर होगा, जिनमें स्मार्ट मीटर व ट्यूबवेल मीटर का विरोध, गन्ना मूल्य व भुगतान, सिंचाई और भूमि अधिग्रहण से जुड़े मुद्दे प्रमुख हैं।
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Meerut News: भारतीय किसान यूनियन के जिलाध्यक्ष अनुराग चौधरी के नेतृत्व में कल मेरठ के किसान ट्रैक्टर तिरंगा मार्च करते हुए कमिश्नरी का महापंचायत करके घेराव करेंगे। भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के जिलाध्यक्ष अनुराग चौधरी की अगुवाई में मेरठ की तीनों तहसीलों से निकलने वाले ट्रैक्टर काफिले न केवल घेराव करेंगे बल्कि भंडारे और लंगर के ज़रिए आंदोलन को जनजागरूकता का रूप देंगे। भाकियू नेता अनुराग चौधरी ने आमजनमानस से कल कमिश्नरी के वैकल्पिक रास्ते चुनने की अपील की है।
जिलाध्यक्ष अनुराग चौधरी का दावा है कि यह आंदोलन 150 से अधिक अनसुलझी समस्याओं को लेकर होगा, जिनमें स्मार्ट मीटर व ट्यूबवेल मीटर का विरोध, गन्ना मूल्य व भुगतान, सिंचाई और भूमि अधिग्रहण से जुड़े मुद्दे प्रमुख हैं। भारतीय किसान यूनियन नेता ने कहा कि 9 जुलाई को किसानों ने अपर मंडलायुक्त को लिखित ज्ञापन सौंपा था, जिसमें सभी समस्याओं का उल्लेख था, लेकिन अब तक न कोई समाधान हुआ और न ही कोई आश्वासन मिला। जिलाध्यक्ष ने बताया कि गंगानगर के किसान मनोहर कुशवाहा की मौत, गन्ना भुगतान में देरी, तहसीलों में भ्रष्टाचार, उफने तालाब, ग्रामीण क्षेत्रों में स्मार्ट मीटर लगाने जैसे मुद्दों पर किसान लंबे समय से परेशान हैं। जमीन का अधिग्रहण होने के बाद मुआवजा न मिलने और फसलों के वाजिब दाम न मिलने से किसान टूट चुके हैं।
भारतीय किसान यूनियन नेता के अनुसार कल हज़ारों किसान अपने ट्रैक्टर ट्रॉली में तिरंगा लगाकर तीनों तहसीलों से भंडारे लंगर की व्यवस्था करके कमिश्नरी का घेराव करेंगे। कल का मार्च अलग-अलग तहसीलों से शुरू होगा और कमिश्नरी पहुंचने पर तीन स्थानों पर भंडारे व लंगर चलेंगे। किसानों का कहना है कि यह सिर्फ विरोध नहीं, बल्कि किसान-मजदूर महापंचायत होगी, जिसमें अगले आंदोलन की रूपरेखा भी तय होगी।
जिलाध्यक्ष अनुराग चौधरी कहते हैं, “सिस्टम में किसान की सुनवाई ही नहीं हो रही है। बिजली विभाग ग्रामीण क्षेत्रों में स्मार्ट मीटर थोप रहा है, जिससे किसान की जेब और खाली होगी। फसल का न वाजिब दाम मिल रहा है, न समय पर भुगतान हो रहा है। ऐसे में किसान एडवांस रिचार्ज कैसे करा पाएगा? किसान टूट चुका है और अब सड़क पर उतरना उसकी मजबूरी बन गई है।”
भाकियू का दावा है कि बीते दो हफ्तों में जिलाध्यक्ष ने गांव-गांव जाकर किसानों से संपर्क किया और महापंचायत में भागीदारी की अपील की। ट्रैक्टर तिरंगा मार्च अलग-अलग रूट से शहर में प्रवेश करेगा। कमिश्नरी पहुंचने पर तीन अलग-अलग स्थानों पर भंडारे और लंगर शुरू होंगे, जिससे आंदोलन सिर्फ नाराज़गी का प्रदर्शन नहीं बल्कि आपसी एकजुटता का प्रतीक बनेगा। संगठन नेताओं के अनुसार यदि मांगे नहीं मानी गईं, तो संघर्ष को और तेज़ किया जाएगा।
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