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Meerut News: GST की गुत्थियों पर मेरठ में मंथन: अफसर-उद्यमियों की खुली बैठक, उठे कड़े सवाल, मिले भरोसे के जवाब
Meerut News: एक देश, एक टैक्स… पर क्या यह वाकई सरल और सुगम है? इसी सवाल का जवाब तलाशने के लिए बुधवार को मेरठ के मोहकमपुर इंडस्ट्रियल एरिया स्थित आई.आई.ए. भवन में जीएसटी प्रणाली की जमीनी हकीकत पर खुलकर मंथन हुआ।
Meerut News: एक देश, एक टैक्स… पर क्या यह वाकई सरल और सुगम है? इसी सवाल का जवाब तलाशने के लिए बुधवार को मेरठ के मोहकमपुर इंडस्ट्रियल एरिया स्थित आई.आई.ए. भवन में जीएसटी प्रणाली की जमीनी हकीकत पर खुलकर मंथन हुआ। “GST में परिवर्तन और समस्या का निवारण” विषय पर आयोजित इस विशेष बैठक में सरकार और उद्योग जगत आमने-सामने नजर आए लेकिन टकराव के नहीं, समाधान के लिए।
बैठक में मुख्य अतिथि के रूप में श्री विवेक कुमार, तकनीकी सदस्य, जीएसटी अपीलीय न्यायाधिकरण (उत्तर प्रदेश राज्य), मौजूद रहे। उनके साथ मंच पर विशिष्ट अतिथि श्री हरिराम चौरसिया (अपर आयुक्त, राज्य कर), श्री सुशील कुमार सिंह, डॉ. मुकेश, श्रीमती मनिषा शुक्ला, श्रीमती अनिता रबियाल और श्री अमित पाठक जैसे वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे। आई.आई.ए. मेरठ चैप्टर के अध्यक्ष श्री अंकित सिंघल और सचिव श्री गौरव जैन ने उद्यमियों की ओर से पूरी ताकत के साथ आवाज उठाई।
मंच से सीधे सवाल
आई.आई.ए. अध्यक्ष अंकित सिंघल ने दो टूक कहा, “GST को Good and Simple Tax के रूप में लाया गया, लेकिन आज ये Micro, Small और Medium उद्यमियों के लिए Complicated and Stressful Tax बनता जा रहा है।” उन्होंने यह भी जोड़ा कि अनुपालन की जटिलता व्यापार की रफ्तार को धीमा कर रही है, जिससे राज्य के राजस्व पर भी असर पड़ रहा है।
ये मुद्दे रहे चर्चा में गर्म:
2017 से 2021 तक डुप्लिकेट ई-वे बिल के चलते कई व्यापारियों को गलत नोटिस जारी।
जॉब वर्क और स्टॉक ट्रांसफर मामलों में मिसमैच के कारण कार्रवाई, जबकि दस्तावेज स्पष्ट।
धारा 112 व 113 के अंतर्गत अपील प्रक्रिया धीमी, व्यापारी परेशान।
1 जुलाई 2025 से लागू होने वाले GSTR-3B ऑटोपॉपुलेशन से जुड़ी जमीनी समस्याएं।
SIB व ACB की कार्रवाई में IIA जैसे संगठनों को प्रतिनिधित्व देने की मांग ताकि पारदर्शिता बनी रहे।
MSME क्षेत्र को GST ग्रीवांस रेड्रेसल कमेटी में जगह देने की पुरजोर अपील।
मांगें जो जोर से उठीं
विभाग द्वारा उत्तर देने की समय-सीमा तय हो, अन्यथा उत्तर को ‘स्वीकृत’ माना जाए।
टारगेट पूरा करने के नाम पर उत्पीड़न बंद हो।
कई अधिकारी जानबूझकर कर आरोपित कर अपील की सलाह देते हैं, यह प्रवृत्ति रोकी जाए।
अधिकारियों ने दिया भरोसा
श्री विवेक कुमार ने ट्रिब्यूनल को लेकर बड़ी राहत की बात कही। उन्होंने स्पष्ट किया कि अब व्यापारियों को हर मामले में कोर्ट नहीं जाना पड़ेगा। “अब आपके शहर या उसके पास ही GST ट्रिब्यूनल में समाधान मिलेगा।” सभी अधिकारियों ने उद्यमियों की शिकायतें गंभीरता से सुनीं और उन्हें बिना हिचक बातचीत के लिए आमंत्रित किया। बैठक में मनु रस्तोगी, अजय गुप्ता, अनुराग अग्रवाल, संजीव गर्ग, विभोर अग्रवाल, मयंक गुप्ता, ईशु बंसल, ईशान गुप्ता सहित आई.आई.ए. के कई सदस्य उपस्थित रहे। सचिव गौरव जैन ने पूरे कार्यक्रम का संचालन संयम और सटीकता के साथ किया।
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