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UP मानसून सत्र: मंत्री नरेंद्र कश्यप ने विजन विकसित भारत 2047 पर दी जानकारी, विकसित राज्य बनाने के लिए बनाई ठोस कार्ययोजना
मंत्री कश्यप ने दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि पिछले आठ वर्षों में विभाग ने पुनर्वासन, पेंशन, शिक्षा, कौशल विकास और रोजगार के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कार्य किए हैं।
Lucknow News: Photo-Social Media
Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश विधानसभा के मानसून सत्र 2025 के तीसरे दिन, पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तीकरण राज्यमंत्री नरेंद्र कश्यप ने विजन विकसित भारत 2047 के अंतर्गत विभागों की भूमिका पर सदन में विस्तार से चर्चा की। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश को एक विकसित राज्य बनाने के लिए ठोस कार्ययोजना बनाई गई है।
महत्वपूर्ण कदम और योजनाएं
मंत्री नरेंद्र कश्यप ने दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि पिछले आठ वर्षों में विभाग ने पुनर्वासन, पेंशन, शिक्षा, कौशल विकास और रोजगार के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कार्य किए हैं। जून 2025 तक 11,32,240 दिव्यांगजनों को भरण-पोषण अनुदान (पेंशन) का लाभ मिला, जिसमें राशि को योगी सरकार ने 300 रुपये से बढ़ाकर 1000 रुपये प्रति माह कर दिया है।
इस अवधि में विभाग ने कुल 8,841 करोड़ रुपये खर्च किए, जो पूर्ववर्ती सरकार द्वारा खर्च की गई 1,581 करोड़ रुपये से लगभग पांच गुना अधिक है। मंत्री ने यह भी बताया कि कृत्रिम अंग सहायक उपकरण योजना के तहत 327.5 करोड़ रुपये खर्च किए गए, और प्रति लाभार्थी अनुदान सीमा को बढ़ाकर 15,000 रुपये कर दिया गया है।
दिव्यांग छात्रों के लिए नए अवसर
मंत्री नरेंद्र कश्यप ने बताया कि दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग ने शैक्षिक पुनर्वासन के तहत 25 बचपन डे केयर सेंटर, 28 समेकित विशेष विद्यालय और 2 राज्य दिव्यांग विश्वविद्यालय स्थापित किए हैं। इसके साथ ही, शिक्षा के लिए वार्षिक बजट को 53 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 118 करोड़ रुपये किया गया है।
पिछड़ा वर्ग कल्याण, ओबीसी छात्रों के लिए वित्तीय सहायता
नरेंद्र कश्यप ने पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग की योजनाओं पर भी चर्चा की। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश में ओबीसी वर्ग की संख्या 52 प्रतिशत से अधिक है, और उनके सामाजिक-आर्थिक उत्थान के बिना राज्य के विकास का लक्ष्य अधूरा रहेगा। वर्ष 2024-25 में विभाग ने 32,22,499 छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति और शुल्क प्रतिपूर्ति दी।
आठ वर्षों में कुल 2,07,53,457 छात्रों को 13,535.33 करोड़ रुपये का लाभ मिला, जो पूर्ववर्ती सरकार के मुकाबले चार गुना अधिक है। मंत्री कश्यप ने बताया कि 2047 तक विभाग का लक्ष्य 7 करोड़ ओबीसी छात्रों को 80,000 करोड़ रुपये की छात्रवृत्ति और शुल्क प्रतिपूर्ति प्रदान करना है।
शादी अनुदान योजना के तहत पिछले आठ वर्षों में 1,221 करोड़ रुपये खर्च कर 6,10,483 गरीब ओबीसी परिवारों की बेटियों की शादी कराई गई। प्रस्तावित है कि अनुदान राशि को 20,000 रुपये से बढ़ाकर 60,000 रुपये किया जाए। 2047 तक 24 लाख बेटियों को 14,400 करोड़ रुपये का लाभ देने का लक्ष्य है।
युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर
कंप्यूटर प्रशिक्षण योजना के तहत आठ वर्षों में 1,39,698 ओबीसी युवाओं को सीसीसी और ओ-लेवल प्रशिक्षण दिया गया, जिससे हजारों युवाओं को सरकारी और निजी क्षेत्र में रोजगार मिला। 2047 तक 11 लाख युवाओं को प्रशिक्षित करने का लक्ष्य है।
आवास और आयोग के सशक्तिकरण की दिशा में कदम
ओबीसी छात्रावासों के अनुरक्षण और नए छात्रावासों के निर्माण की योजना 2047 तक प्राथमिकता में रहेगी। साथ ही, राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग की कार्यप्रणाली को सशक्त करने और इसे राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग की भांति संवैधानिक मान्यता दिलाने की दिशा में भी प्रयास किए जाएंगे।
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