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तिरंगा शहीदों के बलिदान और सम्मान का प्रतीक, इसे फैशन से न जोड़ें
Independence Day 2025: स्वतंत्रता दिवस पर लोग शान से तिरंगा फहरते हैं पर उसके बाद जब वही तिंरगा कचरे और सड़कों पर नजर आता है तो ये उसका अपमान होता है। आइये जानें तिरंगे को कहां और कैसे रखना चाहिए।
Independence Day 2025
Independence Day 2025: स्वतंत्रता दिवस की आहट होते ही लोगों के अंदर की देशभक्ति आचानक जाग जाती है। घर, ऑफिस, सड़कें आदि तिरंगों से सज जाती हैं। यहां तक की मार्केट और ऑनलाइन शॉपिंग वेबसाइट्स पर तिरंगे वाली ड्रेस (Tiranga theme fashion) से लेकर बैग आदि भी धरल्ले से बिकते हैं। शरीर से लेकर पूरा देश तिरंगामय हो जाता है, रह जाता है तो बस लोगों का अंतरिक मन जो सिर्फ एक दिन की दिखावे वाली देशभक्ति में रंगा रहता है। 15 अगस्त के गुजरते ही सब देशभक्ति फोटे खिचाने और रील बनाने के बाद सड़क और कूड़ेदान में पड़े तिरंगों में साफ नज़र आती है। लोगों को अपने अधिकार तो याद रहते हैं पर अक्सर देश के प्रति कर्तव्यों को वो भूल जाते हैं। तिरंगे का सम्मान करना हर एक नागरिक का कर्तव्य है और ये कर्तव्य निभाने से लोग कतराते हैं।
झंडे के कमर्शियल इस्तमाल की नहीं है इजाजत
हमारे देश में झंडे का उपयोग कमर्शियल तौर पर नहीं किया जा सकता है और न ही किसी आम नागरिक के लिए इसे झुकाया जाता है। अगर कोई व्यक्ति किसी के आगे तिरंगे को झुकाता है या उसका कपड़ा बनाकर पहनता है, किसी भी तरह की मूर्ति में लपेटता है या शहीदों के अतिरिक्त किसी व्यक्ति आम नागरिक के शव के ऊपर झंडे को डाल देता है तो इसे तिरंगे का अपमान माना जाता है
तिरंगे का सम्मान, हमारा कर्तव्य
15 August स्वतंत्रता दिवस के दिन गाड़ियों, घर की छतों, दुकानों आदि पर लोग बड़े शान से तिरंगा लगाते हैं। तिरंगे वाली टी-शर्ट, साड़ी, दुप्पटे आदि पहनकर रील बनाते हैं, फोटो खिचाते हैं । हाल के समय में ई-कॉमर्स वेबसाइटों और बाजारों में तिरंगे के रंगों वाले कपड़े, मास्क और सजावटी वस्तुएं आसानी से बिक रही हैं। राष्ट्रीय पर्वों पर इनका खूब इस्तेमाल किया जाता है और ये एक ट्रेंड बन गया है। लेकिन समस्या तब पैदा होती है जब ये वस्तुएं उपयोग के बाद फेंक दी जाती हैं, जिससे तिरंगे का अपमान होता है। देशभक्ति दिखाने के नाम पर किए जा रहे ऐसे काम, कानून और नैतिकता दोनों के खिलाफ हैं। ऐसे में जरूरी है कि सही मायने में देशभक्ति के लिए हम देश के प्रति अपने कर्तव्यों का पालन करें न कि फैशन की चकाचौंध में अपने राष्ट्र ध्वज का अपमान।
झंडा फहराने के बाद क्या करें?
अक्सर लोगों में ये सवाल रहता है कि तिरंगे फहराने के बाद उसको सही से कहां और कैसे रखा जाये? अगर आपके पास कपड़े का तिरंगा है तो उसे सम्मान पूर्वक तय लगाकर किसी बक्से या आलमारी में सुरक्षित रख दें और अगर आपके पास कागज या प्लास्टिक झंडा है तो उसे भी सम्मान पूर्वक किसी ऐसे स्थान पर रखें जहां वह जमीन पर या किसी के पैरों पर न लगे।
झंडे के कट-फट जाने पर क्या करें?
अगर तिरंगा कहीं से कट या फट जाता है और फहराने लायक नहीं रहता है तो उसे यूं ही कहीं भी फेंकना नहीं चाहिए, बल्कि इसके लिए भी एक नियम है। भारतीय झंडा संहिता के मुताबिक, कट-फटे तिरंगे को दफना देना चाहिए या फिर उसे एकांत में कहीं जलाकर नष्ट कर देना चाहिए। इसमें इस बात का ध्यान रखना जरूरी है कि तिरंगे का किसी भी तरह से अपमान न हो।
झंडा फहराने का नियम (Flag Hostting Rule for 15 August)
- तिरंगा झंडा खादी, सूती या सिल्क का बना होना चाहिए. हां, झंडा हाथ से काता हुआ या बुना हुआ भी हो सकता है
- झंडा आयताकार आकार में होना चाहिए, जिसकी लंबाई-चौड़ाई का अनुपात 3:2 होना चाहिए
- झंडे में केसरिया रंग को नीचे की तरफ करके फहराया नहीं जा सकता
- पहले तिरंगा झंडा सिर्फ सूर्योदय से लेकर सूर्यास्त के बीच ही फहराया जा सकता था, लेकिन रात में भी झंडा फहराने की अनुमति है
- झंडे को जमीन पर कभी भी नहीं रखा जाना चाहिए
- जब तक सरकारी आदेश न दिया गया हो, झंडे को आधा झुकाकर नहीं फहराया जा सकता
- झंडे को पानी में नहीं डुबाया जाना चाहिए
- तिरंगे पर किसी भी तरह का अक्षर नहीं लिखा जाएगा
- झंडे का इस्तेमाल पर्दा बनाने या किसी भी चीज को ढकने के लिए नहीं किया जा सकता
- किसी भी तरह के झंडे को तिरंगे से ऊपर नहीं लगाया जाना चाहिए
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