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हापुड़ में नकली पोटाश कांड का पर्दाफाश, तीन गोदाम मालिकों पर मुकदमा दर्ज, पुलिस ने की बड़ी कार्रवाई
Hapur News: हापुड़ में नकली पोटाश और उर्वरक का बड़ा रैकेट पकड़ा गया। पुलिस ने तीन गोदाम मालिकों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर विशेष कार्रवाई शुरू कर दी है।
Hapur News
Hapur News: जिले में किसानों की मेहनत और सरकार की नीतियों के साथ बड़ा खिलवाड़ सामने आया है। सदर कोतवाली क्षेत्र के मोदीनगर रोड पर स्थित तीन गोदामों में नकली पोटाश और उर्वरक का काला कारोबार चल रहा था। दो दिन पहले कृषि विभाग की छापामार कार्रवाई के बाद अब पुलिस ने तीनों गोदाम स्वामियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। फिलहाल पुलिस आरोपियों की तलाश में जुट गई है।
छापेमारी में 500 से ज्यादा कट्टे नकली उर्वरक के बरामद
कृषि अधिकारी गौरव प्रकाश के नेतृत्व में हुई कार्रवाई में टीम ने मोदीनगर रोड पर एक स्कूल के पीछे स्थित तीन गोदामों को सील किया। छापेमारी के दौरान पहले गोदाम से इंडियन पोटाश लिमिटेड (आईपीएल) की “भारत एमओपी” ब्रांड के नाम पर तैयार किए गए नकली कट्टे मिले। इनमें घटिया क्वालिटी का पाउडर भरकर किसानों को असली पोटाश बताकर बेचा जा रहा था।दूसरे गोदाम से इसी ब्रांड के नकली पैकेट, सिलाई मशीन और पैकिंग के उपकरण बरामद हुए, जबकि तीसरे गोदाम से भी बड़ी मात्रा में नकली पोटाश और उर्वरक जब्त किया गया। तीनों स्थानों से कुल 500 से अधिक कट्टे सील किए गए हैं।
मजदूरों के बयान से खुला पूरा रैकेट
मौके पर मिले मजदूरों ने बताया कि उन्हें यह काम विक्की सिंह, लता और मोनू नाम के लोग दिलाते थे। छापेमारी में कोमल श्याम ट्रेडर्स और विक्की सिंह के नाम के विजिटिंग कार्ड भी बरामद किए गए हैं। प्रारंभिक जांच में सामने आया कि यह गिरोह कई जिलों में नकली उर्वरक की सप्लाई कर रहा था।
कृषि विभाग और पुलिस की संयुक्त कार्रवाई
एसएचओ सदर देवेंद्र सिंह बिष्ट ने बताया कि जांच में यह पाया गया है कि आरोपियों ने भारत सरकार द्वारा अनुदानित आईपीएल कंपनी के नाम का दुरुपयोग किया है। उन्होंने नकली पैकेजिंग मटेरियल में घटिया पाउडर भरकर किसानों को ठगा। यह उर्वरक नियंत्रण आदेश 1985 और आवश्यक वस्तु अधिनियम का उल्लंघन है।पुलिस ने इस मामले में विक्की सिंह (प्रोपराइटर, कोमल श्याम ट्रेडर्स, चंद्रलोक कॉलोनी, मोदीनगर रोड, हापुड़), गोल्ड एग्रो साइंस (न्यू शिवपुरी, रेलवे रोड, हापुड़) और अन्य सहयोगियों के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
कई जिलों में फैला नेटवर्क
छापेमारी के दौरान बरामद इनवॉइस और बिलों से यह भी खुलासा हुआ है कि यह नकली उर्वरक एटा और मेरठ तक सप्लाई किया जा रहा था। इससे साफ है कि यह सिर्फ एक जिले का नहीं, बल्कि बहुजनपदीय नेटवर्क है, जो किसानों की मेहनत पर डाका डाल रहा था।कृषि विभाग ने किसानों से अपील की है कि वे किसी भी अनजान व्यक्ति से सस्ते दाम पर उर्वरक या पोटाश न खरीदें। असली खाद-बीज केवल अधिकृत दुकानों से ही लें और यदि कोई संदिग्ध फर्म दिखे तो तुरंत विभाग या पुलिस को सूचना दें।
पुलिस का एक्शन जारी
एसएचओ देवेंद्र सिंह बिष्ट ने कहा कि पुलिस की कई टीमें आरोपियों की तलाश में जुटी हैं। जल्द ही सभी को गिरफ्तार कर जेल भेजा जाएगा। उन्होंने कहा कि किसानों को ठगने वाले इस तरह के फर्जी कारोबारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी ताकि भविष्य में कोई भी ऐसी हिम्मत न कर सके।
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