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खबरदार ट्रंप! भले ही हार जाए ईरान लेकिन अमेरिका को कर देगा 'तबाह', टारगेट फिक्स... 'चीन' ने थामा दोस्त का हाथ

Iran US conflict: ईरान का सीधा हमला अमेरिकी सैन्य ठिकानों के साथ-साथ नागरिकों के लिए भी खतरा बन सकता है।

Snigdha Singh
Published on: 22 Jun 2025 11:48 AM IST
खबरदार ट्रंप! भले ही हार जाए ईरान लेकिन अमेरिका को कर देगा तबाह, टारगेट फिक्स... चीन ने थामा दोस्त का हाथ
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Iran US Conflict: अब तक इज़रायल और ईरान के बीच जारी संघर्ष में अब अमेरिका की सीधी एंट्री हो चुकी है, जिससे हालात और भी गंभीर हो गए हैं। ईरान के परमाणु ठिकानों पर कथित अमेरिकी हमलों के बाद दोनों देशों के बीच तनाव अपने चरम पर पहुंच गया है। ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई ने कड़ा संदेश देते हुए अमेरिका को गंभीर अंजाम भुगतने की चेतावनी दी है।

खामेनेई की कड़ी चेतावनी

अयातुल्ला खामेनेई ने अमेरिका के खिलाफ तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा, "अमेरिका को इस बार ऐसा नुकसान उठाना पड़ेगा, जिसकी उसने कल्पना भी नहीं की होगी।" खामेनेई की इस धमकी के बाद, उनके करीबी माने जाने वाले अखबार केहान के संपादक हुसैन शरियतमदारी ने संभावित जवाबी कार्रवाइयों का खुलासा कर दिया है।

बता दें कि चीन अब दोस्त ईरान का हाथ थाम सकता है। वजह है कि अमेरिका को अपनी पावर दिखाने और चुनौती देने के लिए साथ दे सकता है। इससे पहले भी चीनी विमान तेहरान में उतरे थे। कयास लगाए जा रहे थे कि चीन ने हथियार भेजे हैं।

ईरान ने दी जवाबी हमले की चेतावनी

शरियतमदारी ने अपने लेख में लिखा, "अब हमारी बारी है। हमें देर नहीं करनी चाहिए। पहला कदम होगा बहरीन में स्थित अमेरिकी नौसेना के अड्डे पर मिसाइल हमला और साथ ही हॉर्मुज़ जलसंधि को पश्चिमी देशों के जहाजों के लिए बंद करना।"

क्यों अहम हैं ये ठिकाने?

बहरीन की राजधानी मनामा में अमेरिका की नौसेना की पांचवीं फ्लीट स्थित है, जो मध्य-पूर्व, फारस की खाड़ी, अरब सागर और लाल सागर में सैन्य गतिविधियों की निगरानी करती है। यह क्षेत्र अमेरिका के लिए रणनीतिक रूप से अत्यंत महत्वपूर्ण है। ईरान का सीधा हमला अमेरिकी सैन्य ठिकानों के साथ-साथ नागरिकों के लिए भी खतरा बन सकता है।

हॉर्मुज़ जलसंधि की भूमिका

हॉर्मुज़ स्ट्रैट फारस की खाड़ी को ओमान की खाड़ी से जोड़ता है और यह दुनिया के सबसे व्यस्त तेल परिवहन मार्गों में से एक है। वैश्विक तेल आपूर्ति का लगभग 20 प्रतिशत हिस्सा इसी मार्ग से होकर गुजरता है। अगर ईरान इस जलमार्ग को बंद करता है, तो अमेरिका, ब्रिटेन, जर्मनी और फ्रांस के नौसैनिक और व्यापारिक जहाजों की आवाजाही पर असर पड़ेगा। इससे न सिर्फ तेल की कीमतों में भारी उछाल आ सकता है, बल्कि एक अंतरराष्ट्रीय आर्थिक संकट भी गहरा सकता है।

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Snigdha Singh

Snigdha Singh

Leader – Content Generation Team

Hi! I am Snigdha Singh, leadership role in Newstrack. Leading the editorial desk team with ideation and news selection and also contributes with special articles and features as well. I started my journey in journalism in 2017 and has worked with leading publications such as Jagran, Hindustan and Rajasthan Patrika and served in Kanpur, Lucknow, Noida and Delhi during my journalistic pursuits.

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