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UP School Mirzapur: यूपी के सरकारी स्कूल का कमाल! इसमें पढ़ने वाले 12 छात्राओं ने पहली बार में ही नीट एग्जाम पास कर मचाया धमाल, सभी बच्चों के पिता करते हैं मजदूरी
UP School Mirzapur: यूपी के मिर्जापुर जिले के एक सरकारी स्कूल की 12 छात्राओं ने पहले ही अटेंम्पट में नीट और 1 छात्रा ने जेईई एग्जाम पास कर सभी का ध्यान खींचा है। आइये जाने इस अनोखे सरकारी स्कूल के बारे में।
UP School Mirzapur: सिर्फ सुविधाओं से सफलता नहीं मिलती, सफलता पाने के लिए तपना पड़ता है। ये पंक्तियां इन दिनों उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर का एक सरकारी स्कूल काफी चर्चा में है। सरकारी सुविधाओं की कमी के कारण नहीं बल्कि इसमें पढ़ने वाली होनहार लड़कियों को कारण इस सरकारी स्कूल की चर्चा पूरे प्रदेश में हो रही है। दरसल, मिर्जापुर की पहाड़ी पर बसे मड़िहान में लड़कियों के सरकारी आवासीय सर्वोदय विद्यालय की 12 छात्राओं ने पहली ही बार में नीट (NEET Exam 2025) की कट ऑफ को पार कर सबको चौंका दिया है। दलित आदिवासी और ओबीसी समाजे से आने वाली ये लड़कियां गांव से बाहर की दुनिया से ज्यादा वाकिफ नहीं हैं और न ही किसी पढ़े लिखे परिवार से आती हैं। लेकिन इन्होंने अपनी मेहनत और लगन के दम पर सफलता हासिल कर सबको बता दिया कि सपनों को अगर पंख लग जायें तो उड़ान को कोई रोक नहीं सकता।
किसी के पिता करते हैं मजदूरी तो किसी के सिलते हैं सीट कवर
दलित आदिवासी और ओबीसी समाजे से आने वाली इन छात्राओं के परिवार में भी कोई बहुत पढ़ा लिखा नहीं है। किसी के पिता दिहाड़ी मजदूरी करके घर चलाते हैं तो किसी के पिता सड़क किनारे सीट कवर सिलते हैं तो कोई भट्टे पर मजदूर करके अपना और अपने परिवार का पेट भरता है। ऐसे परिवारों की लड़कियों ने नीट जैसी कठिन परीक्षा पास कर अपने घर वालों को सर गर्व से ऊंचा कर दिया।
सरकारी स्कूल में आधुनिक तरीके से होती है पढ़ाई
मिर्जापुर का ये सरकारी स्कूल किसी प्राइवेट स्कूल से कम नहीं है। यहां इलेक्टॉनिक ब्लैक बोर्ड की मदद से बच्चों को पढ़ाया जाता है। स्कूल के कमरे भी काफी अच्छी स्थिती में हैं।
NEET, JEE के अलावा नर्सिंग एग्जाम में भी चमकी छात्राएं
हां की 12 लड़कियों ने NEET क्रैक किया है, एक ने JEE जबकि 22 लड़कियों ने KGMU और PGI जैसे संस्थानों में नर्सिंग कॉलेज में क्वालीफाई किया है। बता दें कि सुपर-30 और नवोदय विद्यालय की कोचिंग की तर्ज पर इन लड़कियों को तैयार किया जा रहा है। दो साल के लिए यही मड़िहान का आवासीय परिसर इनका घर हॉस्टल स्कूल सबकुछ है।
ऐसे होती है पढ़ाई
दरअसल, मड़िहान के इस आवासीय सर्वोदय विद्यालय में सभी 29 आवासीय सर्वोदय विद्यालय की लड़कियों में से चुनकर 40 लड़कियों का बैच बनाया गया. फिर पिछले दो सालों में प्राइवेट कोचिंग के फैकेल्टी के जरिए इन्हें कोचिंग दी गई. इसमें एक्स नवोदय फाऊंडेशन और समाज कल्याण विभाग ने अपना सहयोग दिया।
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