TRENDING TAGS :
अजरबैजान का परमाणु शक्ति पर ताबड़तोड़ हमला! छोटे से देश ने हिलायी रूस की नीव, 48 घंटे में घुटनों पर झुके पुतिन
Azerbaijan Russia conflict: वो अजरबैजान जिसने पिछले 48 घंटों में ऐसा ज़हर उगला कि क्रेमलिन की दीवारें तक सिहर उठीं। जहां पूरी दुनिया रूस से खौफ खाती है, वहीं बाकू (अजरबैजान की राजधानी) ने ना सिर्फ खुलेआम ललकारा, बल्कि चार ऐसे करारे तमाचे मारे जो मास्को की सियासत में भूचाल ला चुके हैं।
Azerbaijan Russia conflict: दुनिया के नक्शे पर एक छोटा-सा मुल्क, जिसकी आबादी रूस की तुलना में एक कोने में भी नहीं बैठती, लेकिन हिम्मत ऐसी कि सीधा व्लादिमीर पुतिन की आंखों में आंखें डाल दी! अजरबैजान… इस नाम को अब रूस भूल नहीं पाएगा। वो अजरबैजान जिसने पिछले 48 घंटों में ऐसा ज़हर उगला कि क्रेमलिन की दीवारें तक सिहर उठीं। जहां पूरी दुनिया रूस से खौफ खाती है, वहीं बाकू (अजरबैजान की राजधानी) ने ना सिर्फ खुलेआम ललकारा, बल्कि चार ऐसे करारे तमाचे मारे जो मास्को की सियासत में भूचाल ला चुके हैं। कहते हैं, जब कोई छोटा देश दुनिया की सबसे बड़ी सेना और परमाणु जखीरे वाले देश के खिलाफ खुला मोर्चा खोल दे, तो मामला सिर्फ 'राजनीति' नहीं होता… वो किसी बड़े भूचाल का संकेत होता है!
स्पुतनिक के पत्रकार गिरफ्तार… पुतिन के प्रोपेगेंडा पर अजरबैजानी ताला!
रूस का सरकारी मीडिया स्पुतनिक, जिसे क्रेमलिन की ‘जुबान’ कहा जाता है, अजरबैजान में अब बंद है। पहला ज़ोरदार वार सोमवार को पड़ा, जब बाकू पुलिस ने स्पुतनिक के दो रूसी पत्रकारों को सीधे गिरफ्तार कर जेल में डाल दिया। मास्को बौखला गया, विरोध दर्ज कराया, लेकिन अजरबैजान ने साफ कह दिया—अब तुम्हारा प्रोपेगेंडा यहां नहीं चलेगा! दोनों पत्रकार अब तक जेल में हैं… और दुनिया देख रही है कि कोई देश पुतिन के खिलाफ इतनी खुली बगावत कर रहा है!
ड्रग्स केस में रूसियों को ज़मीन पर घसीटा गया…
जैसे इतना काफी नहीं था, अजरबैजान पुलिस ने ईरान से ड्रग्स तस्करी के आरोप में चार रूसी नागरिकों को भी गिरफ्तार कर लिया। सिर्फ गिरफ्तार ही नहीं… उन्हें घुटनों के बल लिटाकर कोर्ट तक ले जाया गया। तस्वीरें लीक हुईं और वायरल हो गईं। मास्को में गुस्से की लहर दौड़ गई। लेकिन अजरबैजान टस से मस नहीं हुआ। साफ शब्दों में कहा गया— "ये हमारे कानून तोड़ेंगे तो चाहे रूसी हों या अमेरिकी, सजा ज़रूर मिलेगी!"
रूस पर हत्या का केस! अजरबैजान ने दायर की आपराधिक शिकायत
इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है जब किसी छोटे पड़ोसी देश ने रूस पर कानूनी तौर पर हत्या का आरोप लगाया है। 2 जून को अजरबैजान ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि उसके 48 नागरिकों को रूस ने हिरासत में लिया था, जिनमें से दो की पुलिस कस्टडी में मौत हो गई। अब बाकू सरकार ने रूस के खिलाफ आपराधिक मुकदमा दर्ज करने का एलान कर दिया है। दुनिया देख रही है कि पुतिन के खिलाफ अब इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस में भी मामला खिंच सकता है!
32 लाशों का हिसाब मांग रहा अजरबैजान… रूस को भेजा ‘आखिरी नोटिस’!
अभी दिसंबर 2024 की बात है। रूस ने चेचेन इलाके में एक विमान को मार गिराया था, जिसमें 32 अजरबैजानी नागरिक मारे गए थे। तब बाकू शांत था, लेकिन अब अजरबैजान ने रूस को लिखित विरोध भेज दिया है। यह कहते हुए कि – "ये हमला जानबूझकर किया गया था। हम अपने नागरिकों की हत्या को नहीं भूल सकते।" रूस इस मुद्दे को अब तक ‘सीमित सैन्य कार्रवाई’ बता रहा था, लेकिन अजरबैजान ने अब इसे मानवता के खिलाफ अपराध घोषित करने की तैयारी कर ली है।
तो क्यों भड़का अजरबैजान… क्या पुतिन के लिए एक और मोर्चा खुल गया है?
इस अचानक तीखे तेवर के पीछे दो बड़े कारण हैं। पहला – अमेरिका से अजरबैजान की गहरी नजदीकी। दूसरा – अर्मेनिया को लेकर रूस का खुलेआम पक्षपात। अर्मेनिया और अजरबैजान के बीच संघर्ष कोई नया नहीं, लेकिन हर बार रूस अर्मेनिया के साथ खड़ा हो जाता है। और अब जब अर्मेनिया खुद अजरबैजान से सुलह चाहता था, तब रूस ने उसे रोक दिया। यही ‘डबल गेम’ अब पुतिन पर भारी पड़ने लगा है।
क्या अब रूस देगा जवाब, या पुतिन की चुप्पी का मतलब कुछ और है?
इन 48 घंटों में रूस की तरफ से सिर्फ नाराजगी और चेतावनी आई है… लेकिन कोई बड़ा पलटवार नहीं। क्या रूस किसी बड़े बदले की तैयारी में है? या फिर पुतिन को भी अब एक और यूक्रेन बनने का डर सताने लगा है? दुनिया की निगाहें अब मास्को और बाकू पर टिकी हैं। एक छोटा देश खुलेआम परमाणु शक्ति को चुनौती दे रहा है… और शायद, यह शांति की आंधी से पहले आने वाला तूफान है! अब खेल बदल चुका है… अगला धमाका कभी भी हो सकता है।
Start Quiz
This Quiz helps us to increase our knowledge